बिहार कांग्रेस में लंबे समय बाद बदलाव की सुगबुगाहट तेज हो गई है. इसी बीच कांग्रेस महासचिव और दिग्गज नेता तारिक अनवर ने खुद को प्रदेश अध्यक्ष की रेस से बाहर बताया है. उन्होंने कहा है कि वे कांग्रेस के बिहार अध्यक्ष बनने की रेस में शामिल नहीं है. वहीं तारिक अनवर के बयान के बाद सियासी गलियारों में चर्चा तेज हो गई है.
जानकारी के अनुसार पत्रकारों से बातचीत करते हुए तारिक अनवर ने खुद को अध्यक्ष पद की रेस से बाहर बताया. इससे पहले अटकलें लगाई जा रही थी कि तारिक अनवर भी बिहार कांग्रेस का अध्यक्ष बनना चाहते हैं और इसके लिए उन्होंने दिल्ली आलाकमान से बातचीत की है.
गांधी परिवार के करीबी नेता हैं तारिक अनवर– बता दें कि तारिक अनवर को गांधी परिवार का करीबी नेता माना जाता है. हालांकि तारिक अनवर 2019 से पहले एनसीपी में थे, लेकिन लोकसभा चुनाव से ऐन पहले उन्होंने कांग्रेस का दामन थामा था. वहीं उन्हें पिछले साल केरल कांग्रेस का प्रभारी बनाया गया था.
इन नामों की चर्चा जोरों पर– कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक बिहार में प्रदेश अध्यक्ष पद की रेस में सबसे आगे कटुंबा से विधायक राजेश राम का नाम है. पिछले दिनों बिहार कांग्रेस प्रदेश प्रभारी भक्त चरण दास ने हाईकमान से सिफारिश की है कि राज्य में किसी दलित चेहरे को अध्यक्ष बनाया जाए, जिसके बाद राजेश राम का नाम सबसे तेजी से उभरा. वहीं अनिल शर्मा, अशोक राम भी अध्यक्ष पद की रेस में शामिल है. हालांकि अंतिम फाइनल आलाकमान को करना है.
बता दें कि झारखंड में प्रदेश कांग्रेस पद को लेकर हुए बदलाव के बाद अब सबकी नजर बिहार की ओर टिक गयी है. बिहार में भी मौजूदा अध्यक्ष पद को लेकर कई कयास लगाये जा रहे हैं. वर्तमान में अध्यक्ष मदन मोहन झा का कार्यकाल 17 सितंबर को खत्म हो रहा है. ऐसे में नए अध्यक्ष इससे पहले बनाए जाने की बात कही जा रही है.