पटना हाईकोर्ट में नगर निकाय चुनाव को लेकर याचिका दायर, सीएम व डिप्टी सीएम के खिलाफ FIR की मांग
याचिका में कहा गया है कि राज्य सरकार द्वारा सत्ता का दुरुपयोग करते हुए विभिन्न प्रकार के योजनाओं का उद्घाटन किया जा रहा है. साथ ही स्थानीय निकाय के चुनाव की घोषणा के बाद भी आचार संहिता का उल्लंघन कर खास वर्ग के लोगों को फायदा पहुंचाने के लिए योजनाओं की घोषणा और प्रचार - प्रसार किया जा रहा है.
पटना हाइकोर्ट में मंगलवार को स्थानीय निकाय, नगरपालिका में वार्ड सदस्यों समेत अन्य पदों के लिये होने जा रहे चुनाव में आचार संहिता लागू करने, निष्पक्ष चुनाव के लिए रिट याचिका दायर की गयी है. रिट याचिका सिद्धार्थ शम्भू नामक व्यक्ति द्वारा दायर की गयी है. याचिकाकर्ता ने अपनी याचिका में कहा है कि सरकार, मंत्रियों, विधानसभा व विधान परिषद के सदस्यों समेत अधिकारियों द्वारा सत्ताधारी महागठबंधन से जुड़े उम्मीदवारों को फायदा पहुंचाया जा सकता है .
राज्य सरकार द्वारा सत्ता का दुरुपयोग किया जा रहा : याचिकाकर्ता
याचिकाकर्ता ने कोर्ट से अनुरोध किया कि वह सत्ता का दुरुपयोग किये जाने की अनुमति नहीं देने समेत अन्य मुद्दों को लेकर आदेश दें. याचिका कर्ता के वरीय अधिवक्ता एस डी संजय ने इस बात की जानकारी देते हुए बताया कि याचिका में कहा गया है कि राज्य सरकार द्वारा सत्ता का दुरुपयोग करते हुए विभिन्न प्रकार के योजनाओं का उद्घाटन किया जा रहा है. साथ ही स्थानीय निकाय के चुनाव की घोषणा के बाद भी आचार संहिता का उल्लंघन कर खास वर्ग के लोगों को फायदा पहुंचाने के लिए योजनाओं की घोषणा और प्रचार – प्रसार किया जा रहा है.
परियोजनाओं का उद्घाटन आचार संहिता का उल्लंघन
याचिककर्ता का कहना है कि राजगीर में 27 नवंबर को गंगा वाटर सप्लाई स्कीम योजना का उद्घाटन, राजकीय दंत चिकित्सा महाविद्यालय व अस्पताल का नालंदा जिला में 12 दिसंबर को उद्घाटन और 13 दिसंबर को मुख्यमंत्री के कर कमलों द्वारा नियुक्ति पत्र वितरण सह उन्मुखीकरण कार्यक्रम कथित रूप से आचार संहिता का उल्लंघन है.
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सीएम व डिप्टी सीएम के खिलाफ FIR की मांग
याचिकाकर्ता ने अपनी याचिका में कोर्ट से अनुरोध किया है कि इस गैरकानूनी काम को करने वाले राज्य के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के विरुद्ध आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन के मामले में प्राथमिकी दर्ज किया जाये.