पटना के फुलवारीशरीफ इलाके में चरमपंथी संगठन पीएफआई के साथ संबंध रखने वाले संगठन का खुलासा हुआ है. पीएम मोदी का पटना दौरा भी इन लोगों के निशाने पर था. 12 जुलाई को पीएम मोदी के पटना आगमन के ठीक एक दिन पहले फुलवारीशरीफ से ही दो संदिग्धों की गिरफ्तारी हुई थी. अब देश विरोधी मुहिम चलाने वाले नेटवर्क का भंडाफोड़ हुआ है जिसमें 26 लोगों पर एफआइआर किया गया है.
बिहार में देश विरोधी मुहिम चलाने वाले बड़े नेटवर्क का भंडाफोड़ हुआ है. सिमी के तर्ज पर ही पीएफआई ने बिहार के हर जिले में अपने संगठन को गुप्त तरीके से फैला रखा है. पटना पुलिस ने फुलवारीशरीफ से अतहर परवेज और मोहम्म्द जलालुद्दीन के बाद अरमान मलिक को भी गिरफ्तार कर लिया है. दस लोगों को हिरासत में लिया गया है. फुलवारीशरीफ के जिस ठिकाने पर तलाशी ली गयी वहां पर पीएफआइ और उससे जुड़े अन्य संगठनों के दस्तावेज और मोबाइल मिले हैं.
पुलिस की पूछताछ में कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं. अतहर परवेज ने पुलिस को बताया कि पीएफआइ के कहने पर सिमी के पूर्व सदस्यों को जोड़कर एक गुप्त संगठन तैयार किया जा रहा था. इस संगठन का उद्देश्य मुसलमानों पर हो रहे अत्याचार का बदला लेना था.
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इस पूरे मामले को लेकर थानाध्यक्ष का बयान चौंकाने वाला है जिसमें कहा गया है कि ऐसी गुप्त सूचना मिली थी कि कुछ संदिग्ध लोग प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पटना आगमन को लेकर बड़ी साजिश रच रहे थे. पीएम के पटना दौरे के दौरान बड़ी गड़बड़ी करने कुछ लोग जमा हुए थे.
पिछले एक पखवारे से इनको ट्रेनिंग दी जा रही है. फुलवारीशरीफ के एडिशनल एसपी मनीष कुमार के अनुसार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 12 जुलाई को पटना दौरे के कुछ घंटों पहले ही संदिग्ध आतंकी अतहर परवेज और मोहम्मद जलालुद्दीन को गिरफ्तार किया गया था.
Published By: Thakur Shaktilochan