बिहटा: आजादी के 74 साल बाद भी बस्ती में नहीं पहुंची पक्की सड़क, पंचायत चुनाव में बन सकता है मुद्दा
मुख्यमंत्री के सात निश्चय योजनाओं के अंतर्गत आने वाली अहम आयोजन में से एक है, गली नली योजना,इसके तहत गाँव की गल्ली में पक्की सड़क का निर्माण. लेकिन बिहटा में एक ऐसा भी पंचायत है जहां आजादी के 74 वर्ष बीत जाने के बाद भी ग्रामीण सड़क का मुंह देख नही पाए है.
बैजू कुमार,बिहटा: मुख्यमंत्री के सात निश्चय योजनाओं के अंतर्गत आने वाली अहम आयोजन में से एक है, गली नली योजना,इसके तहत गाँव की गल्ली में पक्की सड़क का निर्माण. लेकिन एक ऐसा भी पंचायत है जहां आजादी के 74 वर्ष बीत जाने के बाद भी ग्रामीण सड़क का मुंह देख नही पाए है.
बिहटा प्रखंड के दयालपुर -दौलतपुर पंचायत के ग्राम राजपुर के वार्ड नं 4 में 100 घरों की आबादी वाले दलित बस्ती में सड़क की स्थिति काफी दयनीय है. ग्रामीण व किसान बरसात के मौसम में कीचड़ में पैर डाल कर आवागमन करने को मजबूर हैं. राजपुर गांव में पासवान टोली की तरफ जाने वाली मुख्य सड़क किसानों का मुख्य रास्ता है. खेत जाने आने के लिए उसी रास्ते में ही सरकारी बोरिंग स्टेट ट्यूबेल आदि है. लेकिन वह सड़क पक्की तो दूर कच्ची ईट की सोलिंग वाली सड़क भी नहीं हैं. बरसात के मौसम में लोगों को आना- जाना मुश्किल हो जाता है. कई बार इस सड़क की पक्कीकरण को लेकर ग्रामीणों ने आला अधिकारी एवं जनप्रतिनिधियों से गुहार लगाई, लेकिन आज तक इस सड़क का पक्कीकरण दलित टोली के लोगों ने नहीं देखा. उनके लिए इस सड़क का पी.सी.सी होना किसी सपने से कम नहीं है.
ग्रामीण बताते है की हर वर्ष चुनाव के समय वोट लेने के लिए इस मुद्दा को उठाया जाता है.चुनाव जीत जाने के बाद तो मुखिया जी देखने भी नही आते है.कई बार मिल कर शिकायत करने पर दिलासा दिया जाता है कि जल्द ही बनाया जाएगा.लेकिन उसके बाद फिर तो माननीय कान में तेल डालकर सो जाते है.अब फिर एक बार चुनाव का बिगुल बज चुका है. वादे किये जाने लगेंगे लेकिन इसकी उम्मीद अब खत्म होने लगी है कि इसका समाधान भी हो सकेगा.
Also Read: बिहार: थाना के मोटर में दौड़ रहा था हाईवोल्टेज करंट, स्विच ऑन करते ही चपेट में आए दारोगा, मौतगांव के ही ग्रामीण बिमला देवी, सुनैना देवी,बिमलेश,अमित,रजनीश कुमार बताते हैं कि इस सड़क के पक्कीकरण निर्माण को लेकर मुख्यमंत्री समेत कई पदाधिकारियों को पत्र लिख चुके हैं,लोक शिकायत निवारण मे भी मामला को दर्ज करा चुके हैं. अनुमंडल लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी के यहां से दो साल पूर्व में ही सड़क निर्माण कराने की बात कही गयी थी. लेकिन आज तक नहीं कराया जा सका. इस रास्तों से दिनों में कई बार स्थानीय प्रतिनिधियों आना जाना लगा रहता है .उसके बाद भी ध्यान आकर्षित नहीं हुआ. जिससे गांव के लोगों में मायूसी है. वोट लेकर सभी भूल जाते हैं.
इस संबंध में वर्तमान मुखिया कमलेश कुमार ने बताया कि इस सड़क पर मनरेगा के तहत मिट्टी भरकर काम लगाया गया था.लेकिन समय से पहले बारिश होने के कारण मिट्टी बह गई. जिसके चलते स्थिति खराब हुआ है. इसके पूर्व ही इसी वार्ड से कई लोग मुखिया बन चुके हैं लेकिन आज तक उन लोगों ने काम नहीं कराया. हमने अपने निजी फंड से इस वार्ड में काम कराया है. लेकिन आचार संहिता लगने के कारण काम अधूरे पड़े हैं. साथ ही फंड भी नही आ पा रहे हैं. फंड मिलने पर जल्द ही पक्की सड़क का निर्माण कराया जायेगा.
वार्ड 4 की सुनीता देवी ने बतलाया कि सड़क निर्माण को लेकर कई बार मुखिया के पास शिकायत कर चुके है.अगर हमारा फंड भी मिल जाता तो अपने फंड से सड़क का निर्माण करती.बहरहाल मुखिया आदर्श आचार संहिता का हवाला देकर बचना चाहतें है और वार्ड सदस्य मुखिया जी पर थोपने पर लगी है जबकि समय से पहले पहल होती तो आज यह सड़क बनकर तैयार होती और जनता भी इन्हें सम्मान देती, लेकिन ऐसा नही हुआ जिसका खामियाज ग्रामीण को उठाना पड़ रहा है.
इस मामले को लेकर बीडीओ विशाल आनंद ने बताया कि सड़क निर्माण को लेकर ग्रामीणों द्वारा शिकायत मिला है. शिकायत मिलने के बाद गहन जांच जांरी है.जल्द ही दोषियों पर कड़ी करवाई की जायेगी.