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पाल होटल व अमृत लॉज की डिजाइन थी खतरनाक, बचाव की नहीं थी व्यवस्था

पाल होटल व अमृत लॉज में भीषण अगलगी के अगले दिन शुक्रवार को अग्निशमन विभाग की टीम ने जांच की. इसमें कई सारी कमियां पायी गयीं.

पटना .पाल होटल व अमृत लॉज में भीषण अगलगी के अगले दिन शुक्रवार को अग्निशमन विभाग की टीम ने जांच की. इसमें कई सारी कमियां पायी गयीं. अग्निशमन के कई नियमों की धज्जियां उड़ायी गयी थीं. जानकारी के अनुसार नियमावली के अनुसार इन बहुमंजिले भवनों में डिजाइन और उनका निर्माण सुरक्षा को ध्यान में रखकर किया जाना था. दीवार, फ्लैंटों के बीच दरवाजे, सीढ़ियों और कॉरिडोर को विशेष तौर से डिजाइन करना था. छोटी-छोटी सीढ़ियों के होने से लोग बाहर नहीं निकल पाये, जिससे लोगों का दम घुटने से मौत हो गयी है. यही नहीं, अग्नि प्रतिरोधी और धुआं नहीं फैले, इसकी भी व्यवस्था नहीं पायी गयी. टीम ने यह भी पाया कि राष्ट्रीय भवन संहिता के अनुसार ऊंचे भवनों में स्मॉक डिटेक्टरों, स्प्रिंकलर, प्राथमिक अग्निरोधी प्रणाली, पर्याप्त जल आपूर्ति, फायर पंप, आग से बचकर बाहर निकलने के रास्ते, फायरमैन लिफ्ट, फायर टावर, उत्तम विद्युत की व्यवस्था और कुड़ा-करकट डालने के लिए अलग से स्थान आदि की व्यवस्था होनी चाहिए थी, जो नहीं थी. अग्निशमन पदाधिकारी अजीत कुमार ने बताया कि कई सारी कमियां पायी गयी हैं. अन्य होटलों की भी जांच की प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है.

विद्युत व्यवस्था में भी मिली लापरवाही

अग्निशमन विभाग के अनुसार लगभग 60 प्रतिशत आग शॉर्ट सर्किट, ओवर हीटिंग, ओवर लोडिंग, नॉन स्टैंडर्ड उपकरण के प्रयोग, विद्युत वायरिंग गलत टेपिंग और लापरवाही के कारण लगती है. जानकारी के अनुसार जांच में टूटे हुए प्लग और स्विच भी पाये गये. इसके अलावा एक सर्किट में कई सारे उपकरण लगाये गये थे. वहीं वायरिंग में अस्थायी और नंगा जोड़ भी होने की बात सामने आयी है.

तीन साल पहले भेजा गया था नोटिस, फिर भी नियमों का पालन नहीं

पटना. पाल होटल को फायर सेफ्टी को लेकर तीन साल पहले अग्निशमन विभाग ने नोटिस जारी किया गया था. इसके बावजूद होटल संचालक ने नियमों का पालन नहीं किया. लोदीपुर फायर स्टेशन के इंचार्ज अजीत कुमार ने बताया कि 2021 में बाइपास के पास एक बैंक्वेट हॉल में भीषण आग लग गयी थी. इसके बाद 260 से अधिक होटलों की जांच की गयी थी. इस दौरान सभी को नोटिस भेजा गया था, जिनमें पाल होटल भी शामिल है. इनमें 95% से अधिक होटलों ने नियमों का पालन नहीं किया है. उन्होंने बताया कि अब पाल होटल और अमृत लॉज को सील करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है.

फायर स्टेशन इंचार्ज के अनुसार अग्निशमन विभाग ने पांच टीमें बनायी हैं. ये टीमें होटलों व उनके मालिकों के नाम, पता, स्थिति व इन्फ्रास्ट्रक्चर को चिह्नित कर रिपोर्ट सौंपेंगी. इसके बाद अग्निशमन के पदाधिकारी होटलों में जांच कर आगे की कार्रवाई करेंगे. उन्होंने बताया कि वैसे होटलों पर कार्रवाई की जायेगी, जिनमें फायर सेफ्टी के अलावा भवन निर्माण में भी अनदेखी की गयी है.

दूसरे दिन फॉरेंसिक टीम ने लिये नमूने

भीषण अग्निकांड के बाद घटनास्थल पर दूसरे दिन शुक्रवार को भी फॉरेंसिक टीम ने जांच की. करीब तीन घंटे जांच के बाद टीम ने गैस सिलिंडर, दीवार, विद्युत वायरिंग समेत मलबों में दबे अन्य कई सामानों के नमूने लिये. टीम इस बात की जांच कर रही थी कि आखिर इतनी जल्दी आग नीचे से ऊपर कैसे पहुंच गयी. आखिर कितने सिलिंडर ब्लास्ट किये. गैस के अलावा अन्य किसी ज्वलनशील पदार्थ तो नहीं, जिससे आग ने इतना भयावह रूप ले लिया. इन सभी की जांच के लिए टीम ने सैंपलों को कलेक्ट कर लिया है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

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