बिहार में लोगों का होगा अब जीनोम सीक्वेंसिंग, स्वास्थ्य विभाग पता करेगा कोरोना वायरस के चरित्र में कितना आया बदलाव

महानगरों के साथ-साथ जिले में कोरोना के आ रहे मामलों को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग अलर्ट है. वैक्सीन के साथ-साथ जांच का दायरा भी बढ़ा दिया गया है. प्रदेश में बाहर से आने वाले यात्रियों पर कड़ी नजर रखी जा रही है.

By Prabhat Khabar News Desk | March 24, 2021 8:11 AM

पटना. महानगरों के साथ-साथ जिले में कोरोना के आ रहे मामलों को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग अलर्ट है. वैक्सीन के साथ-साथ जांच का दायरा भी बढ़ा दिया गया है. प्रदेश में बाहर से आने वाले यात्रियों पर कड़ी नजर रखी जा रही है.

महानगरों में फैले वायरस का प्रकोप सूबे में न बढ़े, इसके लिए स्वास्थ्य विभाग ने जीनोम सीक्वेंसिंग का निर्णय लिया है. इसके माध्यम से विभाग यह पता करेगा कि इस वायरस के चरित्र में कोई परिवर्तन तो नहीं हुआ है? अगर परिवर्तन मिलेगा, तो स्वास्थ्य विभाग भी उसके हिसाब से अपनी रणनीति बदलेगा. पटना जिले में 10 दिनों से रोजाना 30 से 50 के बीच नये मरीज मिल रहे हैं.

ठंडे और शुष्क मौसमी दशा में कोविड के वायरस अधिक प्रभावी

इधर विश्व मौसम संगठन की रिपोर्ट में खुलासा हुआ है कि कोविड-19 के संक्रमण और उसके विस्तार में तापमान और आद्रता का कोई स्पष्ट असर देखने को नहीं मिला है. हालांकि इस रिपोर्ट में संकेत मिले हैं कि अपेक्षाकृत ठंडे,शुष्क और कम पैराबैग्नी वाली मौसमी दशा में कोविड 19 का वायरस अधिक प्रभावी और लंबे समय तक रह सकता है.

वैश्विक परिदृश्य में तैयार की गयी यह रिपोर्ट मंगलवार को विश्व मौसम दिवस पर पटना में आयोजित एक विशेष समारोह में साझा की गयी. उल्लेखनीय है कि इस वर्ष के विश्व मौसम दिवस की विषय वस्तु महासागर ,हमारी जलवायु एवं मौसम थी. इस समारोह की अध्यक्षता पटना मौसम केंद्र के निदेशक विवेक सिन्हा ने की.

मुख्य वक्ता के रूप में वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक प्रो प्रधान पार्थ सारथी मौजूद रहे. समारोह के दौरा विश्व मौसम संगठन की कोविड 19 टास्क फोर्स की टीम के अध्ययन पर चर्चा की गयी. चर्चा में संभावना व्यक्त की गयी कोविड 19 के वायरस अपेक्षाकृत ठंडे,शुष्क और कम पैराबैगनी विकिरण की स्थिति में ज्यादा समय तक बने रह सकते हैं. हालांकि इन अध्ययनों से अभी तक यह साफ नहीं हुआ है कि तापमान एवं आद्रता का वायरस के संक्रमण दर पर क्या प्रत्यक्ष प्रभाव पड़ता है.

Posted by Ashish Jha

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