अजीत, फुलवारीशरीफ
गौरीचक थाना अंतर्गत बलुआचक गांव में दो सगे भाइयों की 11000 वोल्ट के तार की चपेट में आने से मौत हो गयी. घटना से आक्रोशित ग्रामीणों ने दोनों के शवों को बेलदारी चक चौराहा के पास रखकर पटना-गया और बिहटा-सरमेरा पथ को सात घंटे तक जाम रखा. लोग घटना के लिए बिजली विभाग को जिम्मेवार ठहराते हुए मुआवजा और बिजली तार को कवर करने या हटाने की मांग कर रहे थे. जानकारी मिलते ही मौके पर पहुंची गौरीचक थाना पुलिस और आक्रोशित लोगों में नोकझोंक भी हुई.
बलुआचक गांव के रहने वाले कोपेंद्र कुमार उर्फ पिंटू के दो छोटे बच्चे अंकुश कुमार (9 वर्ष) और प्रिंस कुमार (6 वर्ष) छत पर खेल रहे थे. उनके हाथ में एक डंडा था जो छत के ऊपर से गुजर रहे 11000 वोल्ट के तार से सट गया. मौके पर ही दोनों बच्चों की मौत हो गयी. घटना की जानकारी मिलते ही लोग आक्रोशित हो गये और सुबह करीब सात बजे बेलदारी चक चौराहे को जाम कर दिया. इतना ही नहीं आक्रोशित युवाओं ने वहां आगजनी करते हुए कई गाड़ियों पर पथराव भी किया. घटना के बारे में बच्चों के पिता कोपेंद्र कुमार उर्फ पिंटू ने बताया कि सुबह-सुबह उनके बेटे स्कूल जाने की तैयारी कर रहे थे. उन्होंने दोनों बच्चों को नहाने के लिए कहा था. बच्चे सरस्वती पब्लिक स्कूल में पढ़ते थे. बड़ा बेटा अंकुश दूसरी कक्षा में जबकि छोटा वाला प्रिंस नर्सरी में था. नहाने के बाद दोनों बच्चे छत पर चले गये, जहां एक डंडा उनके हाथ लग गया और वह उससे खेलने लगे.
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महाजाम में पटना-गया रोड और पटना-बिहटा-सरमेरा रोड पर हजारों की संख्या में वहां जहां-तहां घंटों फंसे रहे. लोगों का कहना था की घटना की जानकारी मिलने के बावजूद पुलिस देर से पहुंची. मौके पर पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों के पहुंचने पर तत्काल 20-20 हजार रुपये मुआवजा और अन्य सरकारी सहायता का आश्वासन दिया गया. इसके बाद दोपहर करीब दो बजे से यातायात बहाल किया गया.
कोपेंद्र कुमार ऊर्फ चिंटू के दो ही बेटे थे. एक साथ दोनों बेटों की मौत से पूरा परिवार हिल गया. रविवार को पूरे गांव में दिनभर मातम पसरा रहा. गौरीचक थाना अध्यक्ष कृष्ण कुमार ने बताया कि घटना के बाद आक्रोशित लोगों को समझाया बुझाया गया.