PMCH में कैथलैब का उद्घाटन करने पहुंचे उपमुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री तेजस्वी यादव के वाहन का अस्पताल की नर्सों व अन्य संविदा कर्मियों ने घेराव किया. उन्होंने उन्होंने नर्सों व अन्य स्वास्थ्य कर्मचारियों की स्थायी बहाली की मांग की. मौके पर सुरक्षा कर्मी पहुंचे और नर्सों को समझा-बुझाकर शांत कराया. वहीं, तेजस्वी यादव ने अपने भाषण में कहा है कि संविदा पर काम कर रहे कर्मियों को चिंता करने की कोई बात नहीं है, उनके पक्ष में स्वास्थ्य विभाग कार्य कर रहा है. जल्द ही उन्हें खुशखबरी दी जायेगी.
पीएमसीएच में बुधवार को कैथलैब के उद्घाटन के मौके पर स्वास्थ्य विभाग के अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत ने कहा कि पीएमसीएच को विश्वस्तरीय अस्पताल बनाना मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का ड्रीम प्रोजेक्ट है. इसके लिए पीएमसीएच में तेजी से कार्य जारी है. 2023 के अंत तक पहले फेज का निर्माण कार्य पूरा करने का लक्ष्य है. इसकी जिम्मेदारी संबंधित कंपनी के अधिकारियों को सौंपी गयी है. वहीं, अधीक्षक डॉ आइएस ठाकुर ने कहा कि कैथलैब की सुविधा शुरू होने से अब पीएमसीएच में एंजियाेग्राफी, एंजियाेप्लास्टी, टीएमटी, टू-डी-इकाे आदि हो सकेगी और स्टेंट, पेसमेकर लगाया जा सकेगा. इसके लिए अब किसी प्राइवेट या अन्य अस्पतालों में मरीजों को जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी. बताया जा रहा है कि प्राइवेट में मरीजों से कैथलैब की सुविधा के लिए काफी ज्यादा रुपये चार्ज किए जाते हैं. इससे मरीजों का भारी परेशानी का सामना करना पड़ता है.
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मौके पर स्वास्थ्य विभाग के सचिव सेंथिल कुमार, राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक संजय कुमार सिंह, बीएमआइसीएल के एमडी दिनेश कुमार, पीएमसीएच के प्रिंसिपल डॉ विद्यापति चौधरी, हृदय रोग विभाग के अध्यक्ष डॉ वीरेंद्र सिंह, डॉ अशोक कुमार समेत बड़ी संख्या में डॉक्टर व छात्र-छात्राएं के साथ मरीजों के परिजन भी उपस्थित थे.