Purnia news : ट्रैफिक पुलिस पर एक महिला डॉक्टर ने स्कूटी जांच के बहाने दुर्व्यवहार करने का आरोप लगाया है. उनका आरोप है कि पुलिस ने पहले डिक्की और उनका पर्स चेक किया फिर कहा कि हेलमेट नहीं है, तो जुर्माना भरना होगा.
चेकिंग के दौरान नहीं थी महिला पुलिस
राजकीय मेडिकल कॉलेज अस्पताल में कार्यरत डॉ रंजना कुमारी ने बताया कि हर रोज की तरह मंगलवार को वह स्कूटी से अस्पताल जा रही थीं. इसी दौरान पूर्णिया के लाइन बाजार चौक के पास स्थित ट्रैफिक पोस्ट के पास पुलिस ने उन्हें रुकने का इशारा किया. जब स्कूटी रोकी, तो ट्रैफिक पुलिस ने उनका पर्स और डिक्की चेक करने की बात कही. जब पूछा कि किस बात की चेकिंग कर रहे हैं, तब पान खाये एक पुलिसवाले ने बड़े ही दबंगई से कहा कि किस चीज के लिए चेकिंग होती है. इसके बाद बगैर महिला पुलिस के उसने उनका पर्स ओर स्कूटी की डिक्की चेक की.
भीड़ में सिर्फ हमें ही टारगेट किया
महिला डॉक्टर का कहना है कि पुलिस ने भीड़ भरे वाहनों में से सिर्फ उन्हें ही टारगेट किया और भीड़ से सिर्फ उन्हें ही चेकिंग के लिए बुलाया. चेक करने के बाद एक पुलिसवाले ने उनकी फोटो खींच ली और कहा कि हेलमेट नहीं है. इस पर उन्होंने कहा कि हेलमेट नहीं है, यह बात तो समझ आती है और इसके लिए वह जुर्माना भरने को भी तैयार हैं, लेकिन यह तो पहले बताना था. आखिर उनका पर्स और डिक्की चेक करने का क्या औचित्य है ?
वाहन जांच के दौरान महिला पुलिस क्यों नहीं थी ?
महिला डॉक्टर ने सवाल किया है कि आमतौर पर जब वाहनों की जांच होती है, तो दूर से ही समझ में आ जाता है कि आगे चेकिंग है. पर, वहां ऐसा कुछ नहीं था. सारे वाहन आ और जा रहे थे. उन्होंने कहा कि अगर जांच चल रही थी, तो वहां महिला पुलिस क्यों नहीं तैनात थी. किसी महिला के हाथ से कोई पुलिसकर्मी पर्स लेकर चेक कर सकता है क्या ?
कोई चेकिंग नहीं हुई है, आरोप गलत : ट्रैफिक पुलिस
डयूटी पर तैनात ट्रैफिक पुलिस के एसआइ शंकर सिंह ने इस तरह की किसी चेकिंग से इनकार किया है. पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि उनलोगों ने स्कूटी सवार किसी महिला के पर्स और डिक्की की चेकिंग नहीं की है. यह बिल्कुल गलत आरोप है. यह चेकिंग किसी अन्य पुलिस द्वारा की गयी होगी. यहां लाइन बाजार चौक पर ऐसी कार्रवाई नहीं हुई है.
पर्स चेक करने का आरोप गलत
ट्रैफिक थानाध्यक्ष रोशन कुमार सिंह से यह पूछे जाने पर कि क्या ट्रैफिक पुलिस बाइक या वाहन के डिक्की की जांच कर सकती है, तो उन्होंने बताया कि बिल्कुल जांच कर सकती है. जब पूछा गया कि एक महिला डॉक्टर की स्कूटी की डिक्की के साथ उसका पर्स चेक किया गया, तो उन्होंने कहा कि पर्स चेक किये जाने का आरोप गलत है. महिला की बॉडी चेक करने के लिए महिला पुलिस का रहना अनिवार्य है. महिला डॉक्टर के इस सवाल पर कि वाहनों की भीड़ में से सिर्फ उन्हें ही क्यों रोका गया. थानाध्यक्ष ने बताया कि ऐसी बात नहीं है, हेलमेट नहीं पहनने को लेकर रोका गया होगा. हेलमेट आदि की चेकिंग में यातायात विभाग द्वारा उपलब्ध मशीन से जुर्माना लिया जाता है. जुर्माना नकद या ऑनलाइन यूपीआइ द्वारा किया जा सकता है.