पूर्णिया : सारे काम छोड़ दो सबसे पहले वोट दो, जन-जन की यही पुकार, वोट डालो अबकी बार के नारों के साथ जैन परिवार की महिलाएं अपने मोहल्ले की महिलाओं को साथ लेकर घर-घर मतदान का पैगाम पहुंचाएंगी. महिलाएं कहती हैं कि उन पर दोहरी जिम्मेवारी है. वे घर के अंदर भी सदस्यों को मतदान के प्रेरित करती हैं और अपने आस पास के मोहल्लों में भी लोगों को जागरूक करती हैं.
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‘आओ वोट करें देश गढ़ें’ कार्यक्रम में वोटरों को जगाने का संकल्प, अभियान चला महिलाएं घर-घर पहुंचाएंगी मतदान का पैगाम
पूर्णिया : सारे काम छोड़ दो सबसे पहले वोट दो, जन-जन की यही पुकार, वोट डालो अबकी बार के नारों के साथ जैन परिवार की महिलाएं अपने मोहल्ले की महिलाओं को साथ लेकर घर-घर मतदान का पैगाम पहुंचाएंगी. महिलाएं कहती हैं कि उन पर दोहरी जिम्मेवारी है. वे घर के अंदर भी सदस्यों को मतदान […]
वे मानती हैं कि अपने देश की लोकतांत्रिक व्यवस्था में मतदान अनिवार्य हिस्सा है और इसी से देश व लोकतंत्र को मजबूती मिलती है. मतदान को लोकतंत्र का बड़ा पीलर बताते हुए महिलाएं कहती हैं कि इसकी स्थिति भवन के पीलर से कम नहीं.
यदि किसी भवन का पीलर कमजोर हो जाता है तो वह कमजोर हो जाता है. मतदान का प्रतिशत कम हुआ तो लोकतंत्र भी कमजोर हो जायेगा. महिलाओं ने कहा कि वे न केवल वोट डालेंगी बल्कि अपने टोला मोहल्ला के मतदाताओं को भी इसके लिए प्रेरित करेंगी ताकि शत प्रतिशत मतदान संभव हो सके.
दरअसल, लोकप्रिय अखबार प्रभात खबर द्वारा मतदाता जागरूकता कार्यक्रम ‘आओ वोट करें देश गढ़ें’ अभियान के दौरान गुलाबबाग के बागेश्वरी स्थान में जैन समाज की महिलाओं ने मोहल्ले की महिलाओं को इकट्ठा किया था. महिलाओं ने वोटरों को जगाने का संकल्प लिया और वोट के प्रतिशत पर चर्चा शुरू की.
चर्चा के दौरान महिलाओं ने कहा कि लोकतंत्रात्मक व्यवस्था में हम सबकी हिस्सेदारी है और यही वजह है कि मतदान के मामले में हमारी जिम्मेदारी बढ़ जाती है. महिलाओं ने कहा कि देश की प्रजातांत्रिक व्यवस्था में जनता की जनता द्वारा और जनता की सरकार बनती है. इसलिए मतदान की व्यवस्था लागू है.
हम अपने वोट से जिनका चयन करते हैं और जब उनकी बहुमत होती है तब सरकार बनती है. शत प्रतिशत मतदान से फायदा यह है कि इससे सही प्रतिनिधि चुने जाते हैं जो देश को मजबूत सरकार देने में सहायक सिद्ध होते हैं. महिलाओं ने कहा कि इस नजरिये से सभी मतदाताओं का जागरूक होना जरुरी है और उन सबका यही प्रयास भी है.
महिलाओं ने आपस में यह बात शेयर की कि हर महिला अपने आस पास के दो घरों को जागरुक कर दे तो यह संख्या हजारों में हो जायेगी और इससे निश्चित रूप से मतदान का प्रतिशत बढ़ेगा. महिलाओं ने भरोसा दिलाया कि इस बार मतदान से कोई घर नहीं छूटेगा. पल्स पोलियो अभियान की तरह वे हर घर से वोटरों को मतदान केंद्र तक जाने के लिए प्रेरित करेंगी.
दूर के मतदान केंद्रों तक वाहनों से जाने की हो छूट
प्रभात खबर संवाद के दौरान यह बात निकल कर आयी कि पिछली दफे भी यह चुनाव गर्मी के मौसम में हुआ था और मतदान केंद्र थोड़ा दूर होने के कारण कई लोग वोट से वंचित रह गये थे. इस बार भी मौसम लगभग वैसा ही है. मतदान के दिन काफी गर्मी पड़ने की संभावना है.
यह बात कही गयी कि मतदान की तारीख को सभी तरह के वाहनों का परिचालन बंद हो जाता है. बाइक से भी लोगों को मतदान केंद्र तक जाने की छूट नहीं रहती. इस स्थिति में कई परिवारों के मतदाता मतदान से कतराते हैं. कहने पर वे धूप कम होने पर जाने की बात जरूर करते हैं पर वे जाते नहीं.
यह बात भी खुल कर आयी कि मतदान केंद्रों पर कड़ी धूप के बावजूद कतार में खड़ा होकर अपनी बारी आने का इंतजार करना पड़ता है और लोग इससे दूर भागते हैं. यह मांग उठायी जा रही है कि मतदान केंद्रों पर शेड की व्यवस्था सुनिश्चित हो और वोटरों को बूथों तक जाने के लिए कम से कम बाइक परिचालन की छूट मिल जाए.
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