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किसानों पर सरकार मेहरबान, अब 60 वर्ष पार करने पर मिलेगी पेंशन

पूर्णिया : अब बूढ़े बुजुर्ग किसानों को चन्द रुपयों के खातिर अपने बेटे-बेटियों व उत्तराधिकारियों पर आश्रित नहीं होना पड़ेगा. उम्र के अंतिम पड़ाव पर अब गांव के कोई भी किसान अपने को आर्थिक रूप से कमजोर अथवा बेसहारा नहीं समझेंगे. सरकार किसानों के ऊपर मेहरबान है. किसानों के लिए पेंशन योजना लागू किया गया […]

पूर्णिया : अब बूढ़े बुजुर्ग किसानों को चन्द रुपयों के खातिर अपने बेटे-बेटियों व उत्तराधिकारियों पर आश्रित नहीं होना पड़ेगा. उम्र के अंतिम पड़ाव पर अब गांव के कोई भी किसान अपने को आर्थिक रूप से कमजोर अथवा बेसहारा नहीं समझेंगे. सरकार किसानों के ऊपर मेहरबान है. किसानों के लिए पेंशन योजना लागू किया गया है. पेंशन योजना में किसानों को तीन हजार प्रतिमाह मिलेंगे.

इस प्रकार किसानों के चेहरे खिलने लगे हैं. किसानों के लिए सरकार ने जो पेंशन योजना लागू किया है. उसका नाम प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना है. इस योजना में युवा किसानों को काफी तरजीह दी गयी है. इस योजना का लाभ लेने के लिए किसानों की अधिकतम उम्र 40 वर्ष एवं न्यूनतम उम्र 18 वर्ष के बीच होना चाहिए. यह योजना कोई अनुदान की योजना नहीं होगी.
बल्कि प्रीपेड प्रीमियम के आधार पर वैसे तमाम किसान अपनी उम्र के 40 वर्ष तक निर्धारित दर के अनुसार मासिक किश्त जमा करेंगे. इस लोक लुभावन एवं महत्वाकांक्षी योजना को लेकर पूर्णिया में कवायद तेज कर दी गयी है. इस योजना को लेकर पूर्णिया के जिला कृषि पदाधिकारी सुरेंद्र प्रसाद ने ने अपने मातहत सभी कर्मचारियों को किसानों से आवेदन लेने और प्रचार प्रसार करने का निर्देश दिया है.
इसके लिए पंचायत वार शिविर लगाने की योजना बनायी जा रही है. जिला कृषि पदाधिकारी ने सभी प्रखंडों के समन्वयकों को शत प्रतिशत किसानों को लाभान्वित कराने की हिदायत दी है. उन्होंने कहा कि सरकार की इस महत्वाकांक्षी योजना में हर किसी की भागीदारी सुनिश्चित की जायेगी और कतिपय उदासीनता पर जवाबदेही तय की जायेगी.
पति-पत्नी एक साथ कर सकते हैं आवेदन
बताया गया कि पति अथवा पत्नी अलग-अलग भी 3,000 रुपये की पेंशन प्राप्त करने के हकदार होंगे. शर्त है कि उन्हें अलग-अलग प्रीमियम देना होगा. अगर किसान की 60 वर्ष की आयु के बाद मृत्यु हो जाती है, तो पति या पत्नी को पारिवारिक पेंशन के रूप में 50 प्रतिशत यानी 15 सौ रुपये की मासिक पेंशन मिलेगी.
लाभार्थी पांच वर्षों के नियमित योगदान के बाद योजना से बाहर भी निकलने का विकल्प चुन सकते हैं. बाहर निकलने पर उनके द्वारा किया गया योगदान राशि को बचत बैंक दरों के अनुरूप ब्याज के साथ मिल जायेगा.
कहते हैं अधिकारी
इसमें छोटे एवं सीमांत किसानों को ही लाभ मिलेगा. किसानों को अधिक से अधिक लाभान्वित कराने के निर्देश सभी समन्वयकों को दिये गये हैं. इस योजना को लेकर समन्वयकों के साथ बैठक कर योजना की जानकारी दे दी गयी है. पंचायतवार आवेदन लेने कहा गया है. इससे पूर्व 28 अगस्त को खुश्कीबाग में विशेष प्रशिक्षण के लिए कार्यशाला रखी गयी है. सभी समन्वयकों एवं किसान सलाहकारों को उसमें प्रशिक्षित किया जायेगा.
सुरेंद्र प्रसाद, डीएओ, पूर्णिया
कैसे करें आवेदन
प्रधानमंत्री किसान मान-धन योजना में पहले किसान के रूप में रजिस्ट्रेशन कराया जायेगा. रजिस्ट्रेशन के बाद प्रधानमंत्री किसान मान-धन योजना के लिए प्रखंड अथवा जिला में आवेदन करना होगा. जिस किसान के पास दो हेक्टेयर तक कृषि भूमि होगी वे इस योजना के पात्र होंगे. उन्होंने कहा कि 18 से 40 वर्ष की आयु के किसानों के लिए यह एक स्वैच्छिक और योगदान आधारित पेंशन योजना है.
60 साल की उम्र तक पेंशन कोष में किसानों को योजना में शामिल होते समय उनकी उम्र के आधार पर न्यूनतम 55 रुपये एवं अधिकतम 200 रुपये का मासिक योगदान देना होगा. 18 वर्ष की आयु में योजना में शामिल होने वाले किसान को 55 रुपये और 40 की उम्र में योजना में आने वाले किसान को 200 रुपये की मासिक किस्त देनी होगी. जितनी राशि प्रतिमाह किसान इंवेस्ट करेंगे उतनी ही राशि सरकार भी योगदान करोगी.
पैदावार प्रभावित होने की संभावना
पूर्णिया. अगस्त माह में औसत से कम वर्षा होने से धान की अच्छी पैदावार प्रभावित होने की संभावना प्रबल है. अच्छी पैदावार के लिए के लिए पौधे की जड़ों में कम से कम एक इंच पानी का रहना चाहिए. हालात वैसे नहीं हैं. धान की बलिया निकलने से पहले पौधे के जड़ों में मिट्टी का गीलापन भी रहना जरूरी है. ऐसा नहीं हो रहा है. पौधे का ग्रोथ रुक गया है. धान के खेतों में फसल से ज्यादा अब घास ही दिख रहे हैं.

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