पूर्व थानाध्यक्ष की मौत से स्तब्ध हैं थाना क्षेत्रवासी
पूर्व थानाध्यक्ष की मौत से स्तब्ध हैं थाना क्षेत्रवासी प्रतिनिधि, जानकीनगरअपनी कार्यकुशलता, सरल स्वभाव, मिलनसार व्यक्तित्व के धनी पूर्व थानाध्यक्ष संजीव कुमार रजक की दुर्घटना से मौत की खबर सुन कर थाना क्षेत्रवासी स्तब्ध हैं. संजीव कुमार रजक ने 12 फरवरी 2014 को विधिवत जानकीनगर थानाध्यक्ष के रूप में अपना कार्य भार संभाला था. थानाध्यक्ष […]
पूर्व थानाध्यक्ष की मौत से स्तब्ध हैं थाना क्षेत्रवासी प्रतिनिधि, जानकीनगरअपनी कार्यकुशलता, सरल स्वभाव, मिलनसार व्यक्तित्व के धनी पूर्व थानाध्यक्ष संजीव कुमार रजक की दुर्घटना से मौत की खबर सुन कर थाना क्षेत्रवासी स्तब्ध हैं. संजीव कुमार रजक ने 12 फरवरी 2014 को विधिवत जानकीनगर थानाध्यक्ष के रूप में अपना कार्य भार संभाला था. थानाध्यक्ष बनने के बाद श्री रजक को बिनोबाग्राम में नोट डबलर फानूस गिरोह के सक्रिय होने की जानकारी मिली. इन्हीं के कार्यकाल में 02 जनवरी 15 को विनोबा ग्राम में छापेमारी हुई थी. हालांकि इस छापेमारी में पुलिस को कुछ हासिल होने के बजाय नुकसान ही हुआ था, लेकिन इस छापेमारी को ही फानूस के किले में आखिरी कील मानी जाती है. हालांकि 10 मार्च 2015 को संजीव का स्थानांतरण पूर्णिया सदर थाने कर दिया गया. बहरहाल संजीव सदर थाना में ही जेएसआई के पद पर पदस्थापित थे. हादसे का शिकार हुए पूर्व थानाध्यक्ष स्वर्गीय संजीव कुमार रजक भले ही आज नहीं है लेकिन उनकी कार्यकुशलता एवं सरल व्यवहार की चर्चा आम लोगों के बीच जिंदा है. फोटो:- 11 पूर्णिया 12परिचय:- जानकीनगर में पदस्थापन के दौरान संजीव की फाइल फोटो