जारी है मिलावटी मसाले का कारोबार
गुलाबबाग मंडी. पहले भी कई बार हो चुकी है सन्नी के यहां छापेमारी शनिवार को मंडी में जिस मसाला कारोबारी सन्नी के यहां छापेमारी हुई है, वह इस खेल का बड़ा ही पुराना खिलाड़ी है. सन्नी के यहां पहले भी कई दफा छापेमारी हो चुकी है, लेकिन वह पकड़ा नहीं गया. पूर्णिया : शनिवार की […]
गुलाबबाग मंडी. पहले भी कई बार हो चुकी है सन्नी के यहां छापेमारी
शनिवार को मंडी में जिस मसाला कारोबारी सन्नी के यहां छापेमारी हुई है, वह इस खेल का बड़ा ही पुराना खिलाड़ी है. सन्नी के यहां पहले भी कई दफा छापेमारी हो चुकी है, लेकिन वह पकड़ा नहीं गया.
पूर्णिया : शनिवार की देर शाम प्रशिक्षु आइपीएस सुशील कुमार ने गुलाबबाग मंडी स्थित ड्रामपट्टी में मसाला फैक्ट्री पर छापा मारा, जहां से बड़ी मात्रा में मिलावटी मसाला बरामद हुआ. इसके सैंपल को जांच के लिए जब्त कर भेज दिया गया है. प्रथम दृष्टया मसाला मिलावटी होने की संभावना है. दरअसल मिलावटी मसाले का खेल मंडी में वर्षों से जारी है, जिसका संचालन सिंडिकेट के द्वारा किया जा रहा है. इस मसाला मंडी में पूर्व में भी छापेमारी हुई है, मामला दर्ज हुआ है, लेकिन कार्रवाई सिफर ही रही है. इसी का नतीजा है कि यह कारोबार आज भी बेरोक-टोक जारी है. देखना दिलचस्प होगा कि इस बार की कवायद क्या रंग लाती है.
धंधे का मास्टरमाइंड है सन्नी : जानकारों की माने तो बीते 5 वर्षो में करीब आधा दर्जन बार उक्त जगह पर छापेमारी हुई है और हर बार सन्नी का नाम आया है लेकिन वह बचता रहा है. इसकी सबसे बड़ी वजह यह है कि विभागीय महकमे में तो उसकी पैठ है ही, कई सफेदपोशों का भी उसे संरक्षण प्राप्त है. एक बार फिर सन्नी के यहां हुई कार्यवाही के बाद खाद्य निरीक्षक अनिल कुमार मंडल ने मसाले का सेम्पल लेकर जांच के लिये भेज दिया है.
चावल का टुकड़ा, गेर और भूसा करते है मिक्स : जानकारों की माने तो मिलावटी कारोबार के इस खेल को अंजाम देने वाले मिर्च, हल्दी, धनिया, जीरा, मरीच इत्यादि मसालों में चावल का टुकड़ा, भूसा, गेर आदि की मिलावट कर मसाला तैयार करते हैं. जो बाजार में असली मसाले से काफी सस्ता होता है. इस तरह के तैयार मसाले गोटा मसाले के दाम से आधे दाम पर आसानी से उपलब्ध हैं. सड़कों के किनारे संचालित होने वाले होटल व नाश्ता की दुकान में ऐसे मसाले को खपाया जाता है. इस प्रकार इस कारोबार से जुड़ कर कारोबारी मालामाल हो रहे हैं, तो दूसरी ओर आम लोगों के स्वास्थ्य के साथ भी खिलवाड़ हो रहा है.
करीब एक दशक से जारी है मिलावटी मसाला का कारोबार
सन्नी जैसे कई और खिलाड़ी हैं इस खेल में शामिल
बंगाल से मसाला मंगाता है सन्नी
कई बार हुई छापामारी, नतीजा सिफर
कारोबारियों को मिल जाता है मौका
स्थानीय स्तर पर नहीं है जांच की व्यवस्था
मिलावटी मसाले के कारोबार को अंजाम देने वाले सन्नी जैसे कई कारोबारी और हैं, लेकिन इन सब में सन्नी जाना-पहचाना नाम है. दरअसल यह काला कारोबार इसलिए फल-फूल रहा है कि एक तो मौके पर कारोबारी पकडे नहीं जाते, दूसरी तरफ स्थानीय स्तर पर मिलावटी सामानो की जांच की व्यवस्था नहीं होने की वजह से सैंपल जांच के लिए पटना और कोलकाता भेजा जाता है. इस जांच की प्रक्रिया पूरी होने में महीनों लग जाते हैं. इस बीच कारोबारियों को खेल का मौका मिल जाता है और वे आसानी से बच निकलते हैं.
गुलाबबाग मंडी है बड़ा ठिकाना
गुलाबबाग मंडी कोसी और सीमांचल का थोक बाजार है. अलबत्ता सुपौल, सहरसा, अररिया, मधेपुरा इत्यादि जिलो से भी खरीदार आते है. मंडी में कृषि उपज लेकर आने वाले किसान भी किराना समान और मसाला खरीदारी करते हैं. बताया जाता है कि प्रतिदिन गुलाबबाग मंडी और उसके आसपास करीब पांच सौ क्विंटल मिलावटी मसाला बिकता है. इस खेल का सबसे बड़ा खिलाडी मंडी के अंदर सन्नी है जो खुद के मील में मसाला तैयार तो करता ही है कई और जगहों से भी मिलावटी मसाले मंगाता है. सन्नी के मसाले के खरीदार भी सैकड़ो में हैं जो विभिन जिलो के साथ पूर्णिया के कई छोटे बाजारों में अपनी दुकान सजाते हैं.