सेंट्रल पैथलॉजी के समक्ष धूप व पानी में खड़े रहना मरीजों की मजबूरी
सेंट्रल पैथलॉजी के समक्ष
पूर्णिया. राजकीय चिकित्सा महाविद्यालय एवं अस्पताल में अपना इलाज कराने आनेवाले मरीजों को कई स्तरों पर पेशानियों से जूझना पड़ता है. हर जगह मरीजों की भीड़, कतार और इंतजार यह हर दिन का नजारा है. इनसब में सबसे ज्यादा परेशानी झेलनी पड़ती है पैथलॉजी से संबंधित जांच के लिए आईडी बनवाने, सैंपल देने तथा जांच रिपोर्ट लेने में. धूप हो या बरसात जीएमसीएच कैम्पस स्थित सेंट्रल पैथलॉजी में खुले आसमान के नीचे कतारों में घंटो खड़े रहना मरीजों की मजबूरी बनी हुई है. कई मरीजों के साथ उनके परिजनों की वजह से उन्हें थोड़ी राहत तो मिल जाती है लेकिन जब मरीज अकेला हो तो बीमारी की हालत में खुद कतार में खड़े रहना उसकी मजबूरी बन जाती है. हालांकि इस दिशा में जीएमसीएच प्रशासन ने बरसात से पूर्व एक छोटा सा अस्थायी शेड का निर्माण कराया था लेकिन हर रोज लगने वाली लम्बी कतार के सामने वह बिल्कुल मामूली साबित हुआ और अब तो उसकी भी हालत खराब हो चुकी है. जबकि इस मामले में विगत 11 जुलाई को जिलाधिकारी ने जीएमसीएच के पैथोलॉजी भवन के निरीक्षण के दौरान निबंधन केंद्र पर काउंटर बढ़ाने तथा टोकन सिस्टम चालू करने का निर्देश जीएचसीएच अधीक्षक को दिया था. साथ ही एक सप्ताह के अंदर पैथोलॉजी भवन में जांच हेतु लगने वाली भीड़ का बेहतर प्रबधन कर प्रतिवेदन उपलब्ध कराने का भी निर्देश दिया था लेकिन अबतक इस दिशा में कोई कार्य नहीं दिखता है. फोटो – 24 पूर्णिया 21- जीएमसीएच स्थित सेंट्रल पैथलॉजी के समक्ष जांच के लिए खडी भीड़
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