रूपौली के रिजल्ट का 2025 के चुनाव पर क्या पड़ेगा असर? NDA और महागठबंधन में मंथन शुरू
रूपौली विधानसभा में निर्दलीय प्रत्याशी की जीत और जदयू एवं राजद उम्मीदवारों की हार ने सबको चौंका कर रख दिया. यह नतीजे 2025 में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर और जरूरी हो गए हैं. ऐसे में अब दोनों गठबंधनों में मंथन का दौर शुरू हो गया है.
Bihar Politics : पूर्णिया लोकसभा क्षेत्र के रूपौली विधानसभा उपचुनाव के नतीजे को लेकर सियासी गलियारे में मंथन का दौर शुरू हो गया है. महज ढाई माह के अंतराल में दो बड़े झटके से एनडीए और महागठबंधन दोनों सकते में हैं. पहले पूर्णिया लोकसभा में हार मिली. अब रूपौली में. यह नतीजे दोनों दलों के लिए इसलिये भी खास हैं कि सिर पर 2025 का विधानसभा का चुनाव है. एनडीए के लिए यह नतीजे इस मायने में भी खास है कि लोकसभा चुनाव में जिस रूपौली विधानसभा से एनडीए को बढ़त मिली उसी सीट पर ढाई माह बाद एनडीए को हार का मुंह देखना पड़ा. आखिर कहां चूक हुई. आखिर क्यों ध्वस्त हो गये सभी दलीय समीकरण ? इस पर लगातार बहस जारी है.
दरअसल, यह सीट जदयू के खाते में थी. बीमा भारती लगातार पांचवीं बार विधायक बनीं. शुरू के दो बार छोड़ दें तो इधर लगातार तीन बार जदयू के टिकट से बीमा भारती चुनाव जीतती रहीं. बीमा अपने स्वजाति और जदयू के कोर वोट के बलबूते कभी प्रतिद्वंदी को फटकने तक नहीं दिया. इस बार पासा उल्टा था. बीमा जदयू को छोड़ राजद से चुनाव लड़ी. बीमा के काट में जदयू ने उन्हीं के स्वजाति कलाधर मंडल को मैदान में उतारा. इधर, चुनावी पिच पर शंकर सिंह लगातार बीमा का पीछा करते रहे. 2005 से वे चुनाव लड़ रहे हैं. इन कालखंडों में शंकर सिंह ने गंगोता को छोड़ शेष अतिपिछड़ों के वोट पर अपनी अच्छी पकड़ बना ली. इन्हीं अतिपिछड़े वोट बैंक के सहारे हर चुनाव में वे जीत के करीब पहुंचते-पहुंचते हार जाते थे.
एनडीए और महागठबंधन का कोर वोट छिटका
रूपौली सीट के चुनावी नतीजे पर गौर करने पर एक बात स्पष्ट है कि एनडीए और महागठबंधन का कोर वोट छिटक गया है. जहां अल्पसंख्यकों का थोक वोट राजद से छिटक कर निर्दलीय के पाले में चला गया वहीं जदयू का कोर वोट इस चुनाव में ध्वस्त होता नजर आया. भवानीपुर और बिरौली बाजार में वैश्यों का अधिकांश वोट शंकर सिंह के खाते में चले जाने से एनडीए भौंचक है. ठीक इसी तरह जदयू के आधार वोट बाहुल्य पंचायतों के वोट खिसककर शंकर सिंह की तरफ हौले से शिप्ट कर जाना जदयू के लिए चिंता का विषय माना जा रहा है.
जहां तक बीमा भारती के स्वजाति वोट का सवाल है. इस वोट पर उसी जाति से आने वाले जदयू प्रत्याशी कलाधर मंडल ने सेंध मारने में कामयाब तो रहे पर उन्हें पार्टी का आधार वोट नहीं मिलने के कारण वे जीत के करीब पहुंचकर भी पिछड़ गये.चौंकानेवाली बात यह है कि सवर्ण जाति बाहुल्य पंचायतों में भी कलाधर मंडल को भी पसंद किया गया. बीमा भारती के अलावा अपने स्वजाति और अल्पसंख्यक वोट के आधे से कम वोट तक ही सिमट कर रह गयी. कुल मिलाकर निर्दलीय शंकर सिंह ने राजद और जदयू के कोर वोट बैंक में अच्छी खासी सेंध मारने में कामयाब रहे.
उपचुनाव के नतीजे से सबक लेने की जरूरत : साहा
अखिल भारतीय वैश्य महासम्मेलन के पूर्णिया, कोसी एवं भागलपुर प्रमंडल के प्रभारी अनिल कुमार साहा ने रुपौली उपचुनाव के आये नतीजे पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की है. उन्होंने कहा कि रुपौली में चुनाव प्रचार के दौरान वैश्य समाज की नाराजगी से राजनीतिक पार्टियों के नेताओं को अवगत करा दिया था. अनिल कुमार साहा ने कहा कि वैश्य समाज का जब तक अनादर होता रहेगा तब तक राजनीतिक पार्टियों की यही स्थिति रहेगी.
अनिल कुमार साहा ने कहा कि जातीय जनगणना में वैशय समाज की घोर उपेक्षा की गयी. उनका सही आंकड़ा प्रस्तुत नहीं किया गया. बिहार सरकार के मंत्रिमंडल में वैश्यों को सही स्थान नहीं दिया गया. राजनीतिक पार्टियों के संगठनात्मक कमेटी में भी उचित प्रतिनिधित्व नहीं दिया गया. इस नतीजे से राजनीतिक पार्टियों को सबक लेने की जरूरत है.
अपने-अपने प्रखंड अध्यक्ष के बूथ पर जदयू व राजद दोनों पिछड़े
रुपौली विधामसभ उपचुनाव में अपने-अपने प्रखंड अध्यक्ष के बूथ पर जदयू और राजद दोनों पिछड़ गये. भवानीपुर के जदयू प्रखंड अध्यक्ष और राजद प्रखंड अध्यक्ष के मतदान केंद्र पर ना तो जदयू प्रत्याशी बढ़त बना सके और ना ही राजद उम्मीदवार आगे बढ़ पाए.
मध्य विद्यालय खरकट्टा भवानीपुर के जदयू प्रखंड अध्यक्ष मुकेश कुमार दिनकर का मतदान केंद्र है और इसी गांव में जदयू प्रखंड अध्यक्ष का घर भी है. मगर मतदान केंद्र मध्य विद्यालय खरकट्टा दायां भाग में जदयू को जहां 172 वोट मिले, वहीं विजेता निर्दलीय शंकर सिंह को 315 वोट प्राप्त हुआ. जबकि मध्य विद्यालय खरकट्टा बायां भाग में जदयू प्रत्याशी को 145 वोट मिले और निर्दलीय शंकर सिंह को 232 वोट प्राप्त हुआ है.
दूसरी तरफ राजद के भवानीपुर प्रखंड अध्यक्ष डा. जमशेद आलम के मतदान केंद्र लतामबाड़ी में राजद को मात्र 17 वोट मिले जबकि निर्दलीय शंकर सिंह को 420 वोट प्राप्त हुआ. इस बाबत जदयू प्रखंड अध्यक्ष मुकेश कुमार दिनकर ने बताया कि हमारे गांव के लोगों ने कहा कि पूर्व में हुए एक घटना में निर्दलीय शंकर सिंह ने हमारे गांव को बचाया था , इसलिए उन्हीं को वोट देंगे. राजद प्रखंड अध्यक्ष जमशेद आलम ने बताया कि मैनेजमेंट की कमी की वजह से हमारे गांव के लोग राजद को वोट नहीं दिए.
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मुझे सभी जाति और वर्ग का मिला वोट : कलाधर मंडल
पूर्णिया. रूपौली उपचुनाव के जदयू प्रत्याशी कलाधर मंडल ने रूपौली की जनता से मिले अपार समर्थन के लिए उनके प्रति आभार प्रकट किया है. साथ ही एनडीए के तमाम नेताओं-कार्यकर्ताओं का चुनावी समर में अपना महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए धन्यवाद दिया है. मंडल ने कहा कि उन्हें सभी जाति और वर्ग का समर्थन मिला है. स्वजातीय निर्दलीय उम्मीदवार को छोड़कर बालूटोल, सिरसिया, मलडीहा, कैमई आदि राजपूत बाहुल्य ग्रामों में उन्हें व्यापक समर्थन मिला है. आदिवासी दलित पिछड़ा अतिपिछड़ा अल्पसंख्यक तथा सवर्ण मतदाता समेत सभी वर्गों ने उन्हें सहयोग किया है.
जदयू प्रत्याशी कलाधर मंडल ने बिहार सरकार के मंत्री लेशी सिंह की सराहना करते हुए कहा कि जिस तरह मंत्री लेशी सिंह ने रुपौली के गांव में 15-20 दिनों रहकर गांव-गांव में प्रचार किया और चुनावी प्रबंधन की कमान संभाली, इससे स्पष्ट है कि अतिपिछड़ा समाज का सच्चा हितैषी कोशी-सीमांचल में एक मात्र नेत्री लेशी सिंह हैं. उनके इस सहयोग के लिए उनके प्रति आभार प्रकट करता हूं.
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रूपौली की जनता के जनादेश का सम्मान करती हूं : लेशी सिंह
रुपौली की जनता के जनादेश का सम्मान करती हूं. मतदाता मालिकों को एनडीए समर्थित जदयू उम्मीदवार कलाधर प्रसाद मंडल को समर्थन देने के लिए हृदय से धन्यवाद देती हूं. एनडीए के समर्थित कार्यकर्ताओं का चुनावी समर में मेहनत करने के लिए धन्यवाद देती हूं. उक्त बातें बिहार सरकार के खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग की मंत्री लेशी सिंह ने बयान जारी कर कही है.
रूपौली में विकास के लिए कृत संकल्पित हूं
मंत्री लेशी सिंह ने कहा कि चुनावी अभियान के तहत गांव में लगातार प्रवास के दौरान रूपौली की जनता ने उनके प्रति जो विश्वास, आशीर्वाद और समर्पण दिखाया है, उसके लिए सदैव ऋणी रहूंगी. मैं उन तमाम मतदाता एवं कार्यकर्ता को विश्वास दिलाती हूं कि धमदाहा विधानसभा की तरह रुपौली के लिए समर्पित भाव से खड़ी रहूंगी. हर सुख-दुख में सहभागी रहते हुए रुपौली में विकास की गति तेज हो, इसके लिए कृत संकल्पित हूं.
मंत्री लेशी सिंह ने कहा कि पूर्व पंचायत प्रतिनिधि रुपौली में जिन सामाजिक कार्यकर्ताओं ने दलीय भावना से ऊपर उठकर मेरे अनुरोध पर एनडीए का समर्थन के लिए चुनावी अभियान में हिस्सा लिया, मैं उन्हें भी आश्वस्त करना चाहूंगी कि मेरे दिल में इस सहयोग के लिए हमेशा कृतज्ञता रहेगी और आप सबों के साथ में हमेशा सहयोग के लिए परिवार की सदस्य की तरह खड़ी रहूंगी.
इन कार्यों को पूरा करने का प्रयास करेंगी लेशी सिंह
उन्होंने कहा कि भले ही एनडीए की जीत नहीं हुई हो परन्तु रुपौली में विद्युत समस्या, जर्जर तार तथा वोल्टेज की कमी अतिरिक्त ट्रांसफार्मर लगाने एवं पावर ग्रिड की स्थापना करने, रूपौली में डिग्री कॉलेज खुलवाने, मोहनपुर तथा टीकापट्टी को प्रखंड का दर्जा मिले रुपौली के बाढ़ प्रभावित क्षेत्र की समस्या के निदान हेतु तटबंध निर्माण समेत गरीबों के लिए राशन कार्ड दिलाने हेतु कैंप लगाने समेत अन्य मुद्दों को पूरा करने के लिए प्रयासरत रहूंगी.
कार्यकर्ताओं से निराश न होने की अपील की
उन्होंने कहा कि रुपौली विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करने वाले स्व. मोहितलाल पंडित, स्व. छविनाथ शर्मा, स्व. शालीग्राम सिंह तोमर, स्व. सरयुग प्रसाद मंडल एवं स्व. बालकिशोर मंडल की स्मृति में नाम पर 10 +2 उच्च विद्यालय का नामकरण करने तथा उनके ग्राम को आदर्श ग्राम बनाने के लिए सत्प्रयास करूंगी ताकि आने वाली पीढ़ी को समाज सेवा के क्षेत्र उनके चरित्र विचार की स्मृति कराकर उन्हें प्रेरणा दी जा सके.
मंत्री लेशी सिंह ने एनडीए कार्यकर्ताओं समर्थकों को हार से निराश नहीं होने की अपील करते हुए कहा कि आप सभी मजबूती से गांव में संगठन तैयार कर अगले साल 2025 के होने वाले विधानसभा चुनाव में पार्टी की जीत के लिए अभियान चलने का अनुरोध किया.