बिहार के 10 से अधिक जिलों में भारी बारिश की चेतावनी, वज्रपात से 15 की मौत, मौसम विभाग ने जारी किया पूर्वानुमान
मौसम विभाग द्वारा जारी पूर्वानुमान के अनुसार राज्य के 10 जिलों में अगले 24 घंटे तक बारिश की सक्रियता बने रहने की संभावना जतायी गयी है. तय अवधि के बाद सक्रियता में कमी आयेगी. इस दौरान दक्षिण और उत्तर बिहार में अगले वज्रपात होने की भी आशंका है.
बिहार में मॉनसून की दशा सामान्य हुई है. अगले 24 घंटे के दौरान पटना, कटिहार, मधुबनी, पश्चिमी चंपारण, भागलपुर, खगड़िया, मधेपुरा व सहरसा में भारी बारिश और सुपौल, अररिया, किशनगंज और निकटवर्ती जिलों में अति भारी बारिश का पूर्वानुमान है. आइएमडी पटना ने इसका पूर्वानुमान जारी किया है. इसके मुताबिक शनिवार के बाद से दक्षिण बिहार में बारिश का दौर अभी और बढ़ सकता है. हालांकि, उत्तरी बिहार में अगले कुछ दिन बारिश कुछ कम होने की संभावना है. दक्षिण और उत्तर बिहार में अगले 24 घंटे वज्रपात होने की भी आशंका है.
दक्षिण और उत्तर बिहार में अगले 24 घंटे वज्रपात होने की भी आशंका
आइएमडी की आधिकारिक जानकारी के मुताबिक ट्रफ लाइन उत्तर बिहार से खिसक कर दक्षिण बिहार की तरफ जा रही है. इसके अलावा दक्षिणी उत्तर प्रदेश में एक चक्रवाती परिसंचरण भी बन गया है. लिहाजा दक्षिण बिहार में बारिश की संभावनाएं बढ़ गयी हैं. पिछले कुछ दिनों से दक्षिण बिहार में बारिश न के बराबर हो रही थी.
बिहार में अभी तक 217 मिलीमीटर से अधिक बारिश
बिहार में मॉनसून सीजन में अभी तक 217 मिलीमीटर से अधिक बारिश हो चुकी है. हालांकि, अभी भी बारिश का यह आंकड़ा सामान्य से 33% कम है. इससे पहले शुक्रवार को किशनगंज, अररिया में अति भारी और सुपौल, पूर्णिया, अररिया और मधेपुरा में भारी बारिश दर्ज की गयी है.
यहां हुई इतनी बारिश
पटना में शुक्रवार की सुबह से लेकर शाम पांच बजे तक 35 एमएम, पूर्णिया में 14, मुजफ्फरपुर में 16, छपरा में 23, सबौर में 41, औरंगाबाद में 23, खगड़िया में 31, बांका में 36 और जीरादेई और पूसा में 57 एमएम बारिश दर्ज की गयी है.
आरएयू पूसा मौसम विभाग ने भी जारी किया पूर्वानुमान
इधर, आरएयू पूसा मौसम विभाग ने पूर्वानुमान जारी किया है. इसमें अगले 24 घंटे तक बारिश की सक्रियता बने रहने की संभावना जतायी गयी है. तय अवधि के बाद सक्रियता में कमी आयेगी. वहीं उत्तर बिहार के अन्य जिलों में हल्की व पश्चिमी चंपारण में भारी बारिश हो सकती है.
बारिश से धान के खेतों में आयी जान
बारिश की सक्रियता को देखते हुए कृषि वैज्ञानिकों ने सुझाव दिया है कि जिन किसानों के पास धान का बिचड़ा तैयार हो गया है, वे नीची व मध्यम जमीन में बारिश के पानी का संग्रह करने के लिए मेड़ों को मजबूत बना कर धान की रोपनी कर सकते हैं.
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ठनका गिरने से आठ जिलों में 15 लोगों की मौत
राज्य भर में माॅनसून की बारिश के कारण शुक्रवार को ठनका गिरने से आठ जिलों में 15 लोगों की मौत हो गयी. आपदा प्रबंधन विभाग के मुताबिक रोहतास में पांच, अरवल में चार और पूर्वी चंपारण, नालंदा, किशनगंज, कैमूर, मुजफ्फरपुर व बांका में एक-एक व्यक्ति की मौत हुई हैं. विभाग के मुताबिक 15 लोगों की मौत की पुष्टि जिलों से की गयी है. विभाग के मुताबिक मरने वालों के परिजनों को जिला प्रशासन की ओर से अनुग्रह अनुदान की राशि देने की प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है.
वज्रपात से हुई मौत पर मुख्यमंत्री ने जताया शोक
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने वज्रपात से हुए मौत पर गहरी शोक संवेदना व्यक्त की है. उन्होंने मृतकों के आश्रितों को चार-चार लाख रुपये अविलंब अनुग्रह अनुदान देने का निर्देश दिया है. मुख्यमंत्री ने कहा कि आपदा की इस घड़ी में वे प्रभावित परिवारों के साथ हैं.