विजयादशमी: पटना के गांधी मैदान में जलेगा 70 फीट का रावण, जानें बिहार के प्रमुख शहरों में रावण दहन का समय
पटना के ऐतिहासिक गांधी मैदान में इस बार रावण का 70 फुट का पुतला ग्रीन पटाखे से लैस होगा. पटना के अलावा राज्य के अन्य शहरों में भी लंका दहन का कार्यक्रम आयोजित होगा. हम आपको बता रहे हैं बिहार के कुछ शहरों में रावण दहन की टाइमिंग...
पटना के ऐतिहासिक गांधी मैदान में विजयादशमी के दिन 24 अक्टूबर को शाम साढ़े पांच बजे सोने की लंका धू-धू कर जल उठेगी. दुराचारी और दुष्ट लंकाधिपति रावण व उसके अहंकार का अंत हो जायेगा. रावण वध को लेकर तैयारियां पूरी हो चुकी है. इस बार रावण का पुतला ग्रीन पटाखे से लैस होगा. पटना के अलावा राज्य के अन्य शहरों में भी लंका दहन का कार्यक्रम आयोजित होगा.
कहां-कब होगा लंका दहन
पटना के गांधी मैदान में शाम साढ़े चार बजे से रामलीला शुरू होगी. साढ़े पांच बजे के आसपास रावण वध होगा.
भागलपुर के कर्णगढ़ सीटीएस मैदान नाथनगर में शाम साढ़े सात बजे रावण दहन होगा
गया के गांधी मैदान में शाम साढ़े पांच बजे के आसपास रावण वध होगा.
आरा के रामलीला मैदान में शाम सात बजे रावण वध का कार्यक्रम होगा
अररिया के नरपतगंज में नरपतगंज में शाम करीब छह बजे रावण दहन होगा
दरभंगा के सुंदरपुर छठी पोखर में शाम सात बजे के करीब रावण दहन होगा
सासाराम में शाम छह बजे के आसपास रावण वध का कार्यक्रम होगा
पटना में जलेगा 70 फुट का रावण
पटना में इस बार रावण की लंबाई 70 फुट, मेघनाथ 65 फुट और कुंभकर्ण 60 फुट ऊंचा होगा. ये सभी दक्षिण भारतीय परिधान में नजर आयेंगे. साथ ही पुतला का मुख दोनों ओर होगा. इस बार रावण के चेहरे पर क्रूरता और बार- बार मुंह खुलता और बंद होता दिखेगा. इस बार अशोक वाटिका दो मंजिला होगी इसके द्वार पर दो दर्जन द्वारपाल तैनात होंगे. जहां तक आतिशबाजी का सवाल है, तो यह इको फ्रेंडली होगी. इस बार सभी पुतले वाटरप्रूफ होंगे
लगभग 15 से 20 मिनट होगा आतिशबाजी
पुतला दहन में करीब 15 से 20 मिनट तक आतिशबाजी होगी. ग्रीन पटाखों में आमतौर पर इस्तेमाल होने वाले प्रदूषणकारी केमिकल जैसे एल्यूमीनियम, बेरियम, पोटेशियम नाइट्रेट और कार्बन जैसे हानिकारक रसायन नहीं होते हैं. ग्रीन पटाखों में जो रसायनिक पदार्थ मिलाये जाते हैं, वह कम हानिकारक होते हैं. ये पटाखे साइज में भी काफी छोटे-छोटे होते हैं. इनकी आवाज भी कम होती है.
दो बजे दिन में निकाली जायेगी झांकी
गांधी मैदान में इस भव्य आयोजन की तैयारी दशहरा से लगभग 25 दिन पहले शुरू हो जाती है. पूरे आयोजन में लगभग 15 लाख रुपये खर्च होता है. सरकार आयोजन स्थल की घेरा तथा प्रशासन की व्यवस्था करती है. कदमकुआं स्थित नागा बाबा ठाकुरबाड़ी से शोभायात्रा निकाली जाती है. इस बार भी ऐसा ही होगा. भगवान राम, लक्ष्मण, हनुमान, जायमंत, सुग्रीव तथा वानर सेना के साथ सज-धज कर शोभायात्रा विभिन्न मार्गों से होते हुए गांधी मैदान शाम चार बजे तक पहुंचेगी. इसके बाद रावण तथा कुंभकर्ण का वध राम करेंगे. तथा मेघनाथ का वध लक्ष्मण करेंगे.
प्रभु श्रीराम करेंगे कुंभकर्ण, मेघनाद और रावण का वध
राम, लक्ष्मण और वानर सेना की झांकी गांधी मैदान पहुंचने के बाद शोभायात्रा की तीन परिक्रमा होगी. परिक्रमा के बाद मुख्य अतिथि राम लक्ष्मण की आरती उतारेंगे. हनुमान जी द्वारा अशोक वाटिका से माता सीता को मुक्त करा कर लंका दहन होगा. प्रभु श्रीराम कुंभकर्ण, मेघनाद और रावण का वध करेंगे. इस वर्ष रावण दहन के दर्शकों की सेवा में रंगारंग आतिशबाजी का आकर्षक और नयनाभिराम इंतजाम किया गया है. रावण दहन का लाइव प्रसारण फेसबुक पर किया जायेगा.
Also Read: पटना में दशहरा को लेकर इन इलाकों में बंद रहेगी गाड़ियों की एंट्री, जानिए कहां होगी पार्किंग की व्यवस्थाबख्शी राम व मोहन लाल गांधी ने की थी कमेटी का गठन
पटना के गांधी मैदान में पहली बार वर्ष 1955 में रावण वध का आयोजन किया गया था. इसके लिए बख्शी राम गांधी, मोहन लाल गांधी ने मिलकर वर्ष 1954 में दशहरा कमेटी का गठन किया था. इसमें पीके कोचर, राधा कृष्ण मल्होत्रा, मिशन दास सचदेवा, टीआर मेहता और रामनाथ साहनी शामिल थे. पहली रावण वध को देखने के लिए गांधी मैदान में पटना और आसपास के लगभग दस हजार लोग इसके गवाह बने थे.
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