सड़क हादसे में दोषी वाहनों का रजिस्ट्रेशन होगा रद्द, ड्राइवर पर भी एक्शन, नीतीश सरकार का बड़ा फैसला
सड़क दुर्घटनाओं (Bihar Road Accident) में कमी लाने के लिए बिहार की नीतीश सरकार (Nitish Kumar Govt) ने बड़ा फैसला लिया है. अब सड़क हादसों में दोषी वाहनों का रजिस्ट्रेशन (Motor Vehicle Registration) रद्द कर दिया जाएगा वहीं चालक का लाइसेंस (Driving Licence) भी निरस्त कर दिया जाएगा.
सड़क दुर्घटनाओं (Bihar Road Accident) में कमी लाने के लिए बिहार की नीतीश सरकार (Nitish Kumar Govt) ने बड़ा फैसला लिया है. अब सड़क हादसों में दोषी वाहनों का रजिस्ट्रेशन (Motor Vehicle Registration) रद्द कर दिया जाएगा वहीं चालक का लाइसेंस (Driving Licence) भी निरस्त कर दिया जाएगा.
इस संबंध में बिहार सरकार (Bihar Govt) ने सूबे के सभी डीटीओ (DTO) को निर्देश जारी कर दिया है. निर्देश में कहा गया है कि सड़क सुरक्षा नियमों का पालन कराने के लिए राज्य में विशेष वाहन जांच अभियान चलाया जाये. बुधवार को आयोजित बैठक में परिवहन मंत्री शीला कुमारी ने लोगों से अपील की है कि दोपहिया वाहन चलाते समय हेलमेट जरूर लगाएं और वाहन को स्पीड लिमिट में ही चलाएं.
सड़क दुर्घटना में कमी लाने के लिए नीतीश सरकार ने लिया महत्वपूर्ण फैसला
◆ सड़क दुर्घटना में दोषी वाहनों का रजिस्ट्रेशन किया जाएगा रद्द
◆ चालक का लाइसेंस भी कर दिया जाएगा निरस्त@Jduonline pic.twitter.com/2Qtyhl6fbL— Rajiv Ranjan Prasad (@RajivRanjanJDU) February 25, 2021
बैठक में विभागीय सचिव संजय कुमार अग्रवाल कहा कि खासकर हाइवे पर ओवरलोडिंग कर चलाये जा रहे ऑटो और बसों को नियंत्रित करने के लिए सख्ती पूर्वक अभियान चलाएं. उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिया है कि तीन सदस्यीय टीम दुर्घटना स्थल पर जाकर जांच करे और तुरंत कार्रवाई करे. सड़क हादसों में मृतक के परिजनों को थर्ड पार्टी इंश्योरेंस का लाभ मिल सके, इस दिशा में भी कार्रवाई का निर्देश दिया गया.
सचिव ने निर्देश दिया कि सड़क सुरक्षा जागरूकता के लिए जिलों में प्रचार-प्रसार के साथ हेलमेट-सीट बेल्ट का इस्तेमाल, ओवरलोडिंग, फिटनेस, ओवर स्पीडिंग आदि जांच अभियान सघन रूप से चलाएं. बता दें कि तमाम यातायात नियमों के बाद भी सड़क हादसों में साल दर साल मौत का आंकड़ा बढता ही जा रहा है.
एक रिपोर्ट के मुताबिक, बिहार में बीते 11 साल में सिर्फ सड़क हादसों में 61 हजार 765 लोगों की मौत हुई है. साल 2019 में मौत का आंकड़ा सात हजार से ज्यादा रहा. बीते साल कोरोना के कारण लॉकडाउन रहा, इस कारण सिर्फ 6698 मौत ही दर्ज हुई. यदि लॉकडाउन नहीं होता तो यह संख्या कहीं ज्यादा हो सकती थी.
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Posted By: Utpal kant