रसोइयों ने भरा हुंकार, साढ़े 12 सौ रुपये में कैसे चलेगा घर
राष्ट्रीय मध्याह्न भोजना रसोइया फ्रंट के बैनर तले रसोइयों ने कलेक्ट्रेट का किया घेराव सासाराम कार्यालय : सरकार. आपही बताइए. हम तो बच्चों का भोजन पकाती हैं. हमारे घर में भी भोजन पकना चाहिए या नहीं? इस महंगाई के दौर में साढ़े 12 सौ रुपये में किसी के घर में कितने दिनों का भोजन पक […]
राष्ट्रीय मध्याह्न भोजना रसोइया फ्रंट के बैनर तले रसोइयों ने कलेक्ट्रेट का किया घेराव
सासाराम कार्यालय : सरकार. आपही बताइए. हम तो बच्चों का भोजन पकाती हैं. हमारे घर में भी भोजन पकना चाहिए या नहीं? इस महंगाई के दौर में साढ़े 12 सौ रुपये में किसी के घर में कितने दिनों का भोजन पक सकता है? हमारी बात आप सरकार तक पहुंचाये. बड़ी मेहरबानी होगी. हम भोजन पकाने में आग से झूलसते हैं.
कड़ी मेहनत करती हैं. हेडमास्टर साहेब की दो बातें सहती हैं. इसके बावजूद हमें सरकार मजदूर भी नहीं समझती. उक्त बातें राष्ट्रीय मध्याह्न भोजना रसोइया फ्रंट के बैनर तले कलेक्ट्रेट का घेराव किये रसोइया रीना, जगदंबा, रागिनी, दौलतिया, अर्चना आदि ने कही. वे अपना उद्गार डीपीओ (मध्याह्न भोजना योजना) सईद अंसारी के समक्ष व्यक्त कर रही थी. डीपीओ एमडीएम किसी तरह फ्रंट के नेताओं को समझाने में कामयाब रहे और उनके मांग पत्र को लेकर सरकार तक भेजने का आश्वासन दिया. इसके बाद घेराव व प्रदर्शन समाप्त हुआ. मांग पत्र में एमडीएम योजना में ठेकेदारी बंद करने, बैंक खाता में मानदेय देने, रसोई में गैस चूल्हा उपलब्ध कराने आदि की शामिल हैं.
प्रदर्शन का नेतृत्व फ्रंट के संस्थापक सह राष्ट्रीय महासचिव रामकृपाल ने किया. प्रदर्शन से पूर्व शेरशाह सूरी मकबरा के समीप मैदान में हुई सभा को फ्रंट के बिहार के प्रदेश अध्यक्ष उमा शंकर प्रसाद ने सदस्यों से आगामी 6 से 8 अक्टूबर तक पटना के गर्दनीबाग व 6 से 8 नवंबर तक दिल्ली के जंतर-मंतर पर महाधरना में बड़ी संख्या में भाग लेने की अपील की. प्रदर्शन में प्रदेश महासचिव सीताराम चौधरी, जिलाध्यक्ष दरोगा साह, बहादुर सिंह, बबन चौधरी, कंचन कुंवर, शारदा देवी, जयराम राम, कबूतरा देवी, सुनैना देवी, सीता देवी, अफसाना खातून, रामप्रवेश, कृत्यानंद आदि थे.