दोषमुक्त होने के बाद नहीं पैसा मिला, न ही नौकरी
सासाराम शहर : एक वर्ष पूर्व ही न्यायालय ने डीटीओ कार्यालय के दो कर्मियों को दोष मुक्त कर दिया था. बावजूद दोनों कर्मियों को अबतक न रुपये मिले और न ही नौकरी मिल सकी, जिससे इन कर्मियों की माली हालत काफी बिगड़ गयी है. नौकरी व रुपये के लिए कर्मी कभी डीटीओ ऑफिस, तो कभी […]
सासाराम शहर : एक वर्ष पूर्व ही न्यायालय ने डीटीओ कार्यालय के दो कर्मियों को दोष मुक्त कर दिया था. बावजूद दोनों कर्मियों को अबतक न रुपये मिले और न ही नौकरी मिल सकी, जिससे इन कर्मियों की माली हालत काफी बिगड़ गयी है. नौकरी व रुपये के लिए कर्मी कभी डीटीओ ऑफिस, तो कभी परिवहन विभाग पटना का चक्कर काट रहे हैं.
मालूम हो कि 15 दिसंबर 2016 को डीटीओ कार्यालय के कैश काउंटर से दो लाख 74 हजार रुपये गायब हो गये थे, जिसमें डीटीओ ने थाने में एफआइआर दर्ज करा कंप्यूटर ऑपरेटर सोनी कुमारी, निधि कुमारी व प्रोग्रामर पंकज कुमार को अभियुक्त बनाया था. एफआइआर के बाद तीनों कर्मियों से न्यायालय में गायब 2 लाख 74 हजार रुपये जमा कराये गये थे. मामले की दो वर्षों तक चली जांच के बाद प्रोग्रामर पंकज कुमार व कंप्यूटर ऑपरेटर निधी कुमारी को न्यायालय ने जून 2018 को दोष मुक्त कर दिया था.
लेकिन दोषमुक्त होने के एक वर्ष बाद भी दोनों को गायब होने के एवज में दिये गये न रुपये मिले और न ही नौकरी मिली, जिससे कर्मी डीटीओ कार्यालय से लेकर पटना तक का चक्कर लगाते फिर रहे हैं. इस संबंध में डीटीओ जिआउल्लाह खान ने बताया कि न्यायालय से कोई लिखित आदेश प्राप्त नहीं हुआ है. इस संबंध में विभाग के वरीय पदाधिकारियों के पास पत्राचार किया गया है.
मामला 15 दिसंबर 2016 को डीटीओ कार्यालय से दो लाख 74 हजार रुपये गायब होने का
डीटीओ ने दो महिला कंप्यूटर ऑपरेटरों व एक प्रोग्रामर पर एफआइआर कर बनाया था आरोपित
न्यायालय ने एक कंप्यूटर ऑपरेटर व प्रोग्रामर काे जून 2018 में कर दिया था दोषमुक्त