बालू लदे वाहनों व ओवरलोडिंग से बरबाद हो रहीं जिले की सड़कें
सासाराम (ग्रामीण) : बालू लदे बड़े वाहनों से टपक रहे पानी व ओवरलोडिंग के कारण रोहतास की कई सड़कें बरबाद लगी हैं. ऐसी स्थिति में करोड़ों खर्च कर बनायी जा रही सड़कें मेंटेनेंस अवधि के निर्धारित डेड लाइन से पहले ही अपना अस्तित्व खो दे रही हैं, जिसके कारण इन सड़कों पर आवागमन प्रभावित हो […]
सासाराम (ग्रामीण) : बालू लदे बड़े वाहनों से टपक रहे पानी व ओवरलोडिंग के कारण रोहतास की कई सड़कें बरबाद लगी हैं. ऐसी स्थिति में करोड़ों खर्च कर बनायी जा रही सड़कें मेंटेनेंस अवधि के निर्धारित डेड लाइन से पहले ही अपना अस्तित्व खो दे रही हैं, जिसके कारण इन सड़कों पर आवागमन प्रभावित हो रहा है.
इससे सबसे अधिक परेशानी लोगों को हो रही है. लेकिन बालू खनन में लगे ठेकेदार ओवरलोडिंग में पीछे नहीं हैं. उन्हें कानूनी दावं-पेच से खास कोई मतलब भी नहीं हैं.
जिले में अमूमन हर रोज ओवरलोडिंग व अवैध खनन के खिलाफ अभियान चलता है. वाहन भी पकड़े जाते हैं, लेकिन पुलिस-प्रशासन के इस अभियान का खास असर नहीं दिख रहा है. वहीं, सोन नदी की जल धारा को रोक कर अर्थमूवर (जेसीबी) से कराये जा रहे बालू खनन से भूस्खलन का भी खतरा मंडराने लगा है.
पानी गिरने से टूट रही सड़कें: बालू लदे वाहनों से टपकने वाले पानी से अलकतरे से बनी सड़कें अधिक प्रभावित हो रही हैं. सड़कें टूट रही हैं. उन पर बने गड्ढों में पानी जम जाता है. वहीं, सड़कों की निर्धारित क्षमता से अधिक भार वाहनों (ओवरलोडिंग) के चलने से भी सड़कें धंस रही हैं. समय के पहले ही सड़कें जजर्र हो रही हैं. इससे प्रतिवर्ष सरकार को करोड़ों रुपये का नुकसान उठाना पड़ता है.
मिल रही गड़बड़ी की शिकायत: सोन नदी के पानी का रोक कर मशीनों से बालू निकाला जा रहा है. इससे सोन नदी में भूस्खलन का खतरा मंडराने लगा है. जगह-जगह सोन नदी में बड़े-बड़े गड्ढे बन गये हैं. ठेकेदारों द्वारा मनचाहा वजन ट्रकों पर लाद दिया जाता है.
इन सड़कों में पड़ी हैं दरारें : डेहरी-नासरीगंज पथ, डेहरी-राजपुर पथ, राजपुर-नासरीगंज पथ, नोखा-राजपुर पथ, सासाराम-बिक्रमगंज पथ, बरांव-दिनारा पथ,जीटी रोड, डेहरी-तिलौथू पथ.