पइसा से का होइ, बेटा तो ना नु मिली

मौत की सूचना के बाद गांव में पसरा मातम, बीएससी फाइनल इयर का छात्र था अनुरंजन पटना के राजेंद्रनगर में बड़े भाई के साथ रह कर प्रतियोगिता परीक्षा की कर रहा था तैयारी काराकाट : दियारा से एनआइटी घाट के लिए आ रही पर्यटकों से भरी नाव के 14 जनवरी को गंगा में डूब जाने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 16, 2017 9:19 AM
मौत की सूचना के बाद गांव में पसरा मातम, बीएससी फाइनल इयर का छात्र था अनुरंजन
पटना के राजेंद्रनगर में बड़े भाई के साथ रह कर प्रतियोगिता परीक्षा की कर रहा था तैयारी
काराकाट : दियारा से एनआइटी घाट के लिए आ रही पर्यटकों से भरी नाव के 14 जनवरी को गंगा में डूब जाने से मारे गये लोगों में काराकाट थाना क्षेत्र के रामपुर गांव का युवक अनुरंजन कुमार (22) भी है. बताया जाता है कि घटना के करीब एक घंटे के बाद अनुरंजन के मित्रों ने मोबाइल के जरिये परिजनों को इसकी सूचना दी. सूचना मिलते ही अनुरंजन के परिजन पटना रवाना हो गये थे. मृतक के पिता कुलवंत सिंह ने बताया कि पटना पहुंचने पर बेटे के शव की शिनाख्त करायी गयी और इसके बाद अंतिम संस्कार के लिए शव को ले आये. बिहार सरकार की ओर से मुआवजे के रूप में तत्काल चार लाख रुपये का चेक दिया गया.
चार लाख रुपये की सहायता राशि अनुरंजन की मां उर्मिला देवी के लिए मिट्टी से ज्यादा कुछ नहीं. बेटे की मौत की खबर सुन कर सदमे में आयीं उर्मिला ने बिलखते हुए कहा, हमार बेटा चल गइल ,अब ना आइ. पइसा से का होई ,बेटा ना नु मिली, इ कईसे हो गइल. बताया जाता है कि अनुरंजन कुमार तीन भाइयों में सबसे छोटा था. अनुरंजन व उसके बड़े भाई अभिमन्यु सिंह पटना में साथ रह कर पढ़ाई करते थे.
फिलहाल] वह घर आया हुआ था.
अनुरंजन बीएससी फाइनल इयर का छात्र था और वह पटना के राजेंद्रनगर में अपने भाई के साथ रह कर प्रतोयोगिता परीक्षा की तैयारी कर रहा था. अनुरंजन मैट्रिक परीक्षा पास करने के बाद उच्च शिक्षा और कंपीटीशन की तैयारी के लिए अपने बड़े भाई के साथ पटना चला गया था. बेटे की मौत की सूचना मिलने के बाद से उर्मिला देवी व परिजनों का रो रोकर बुरा हाल है. गांव की महिलाएं समझा रही थीं कि किस्मत में यही बदा था, तो कोई क्या कर सकता है, लेकिन उर्मिला देवी के आंसू थम नहीं रहे थे. युवक की मौत से गांव में सन्नाटा पसरा हुआ है. इस दुखद घटना की खबर मिलने के बाद उसके सगे-संबंधी भी पहुंचे हैं और शोकसंतप्त परिवार को ढांढस बंधा रहे हैं. 15 जनवरी की सुबह उसके शव का अंतिम संस्कार कर दिया गया.

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