सहरसा : बिहार के सहरसा शहर में सदर अस्पताल में प्रसव कराने आयी महिला के गर्भ में ही शिशु की मौत हो गयी. इस मामले में महिला निकी देवी की मां सौरबाजार प्रखंड अंतर्गत कचरा निवासी विमला देवी ने सदर अस्पताल के चिकित्सक व एएनएम कर्मियों पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए सदर थाना में आवेदन देकर दर्ज कराया है.
थाने में दिये गये आवेदन में उन्होंने बताया कि सोमवार को सुबह दस बजे वह अपनी लड़की को प्रसव कराने के लिए सदर अस्पताल में भर्ती कराया. जहां सोनु नर्स ने बोला कि बाहर से खुन जांच कराकर लाओ. हम गरीब एक सौ चालीस रुपये में बाहर से खुन जांच कराये. फिर नर्स बोली की अल्ट्रासाउंड कराओ तो सुपर बाजार जाकर सात सौ रुपये में अल्ट्रासाउंड भी कराया. जिसके बाद जब अस्पताल पहुंचे तो नर्स ने कहा तीन हजार रुपये दो डाक्टर साहब आएंगे तब आपरेशन होगा. बच्चा उल्टा हो गया है. उसके कुछ देर बाद मेरी बेटी के बच्चे का दो पैर बाहर निकल गया और वह दर्द से छटपटाने लगी तो नर्स बोली डाॅक्टर साहब आते होंगे.
जब डॉक्टर आर मोहन आये तो बोले कि जल्दी प्राइवेट क्लिनिक भागो नहीं तो मार लगेगा. जल्दी अस्पताल से निकल जाओ. जिसके बाद मैं पूरे शहर में दो तीन डाॅक्टर के पास गयी, लेकिन बिना पैसे के कोई भर्ती नहीं किया. तब डॉ आर पटेल ने भर्ती कर एक सूई दिया और मरे बच्चे को बाहर निकाला. उन्होंने बताया कि नर्स सोनु और सुनिता बच्चे का जबरदस्ती पैर खीच रही थी. उन्होंने नर्स और चिकित्सक पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए सदर थाना में आवेदन देकर कारवाई करने की मांग की है.