नमी के कारण कीटाणुओं एवं बैक्टीरिया का तेजी से होता है विकास
बरसात में बच्चों के स्वास्थ्य की देखभाल जरूरी
बरसात में बच्चों के स्वास्थ्य की देखभाल जरूरी सहरसा बारिश का मौसम आते ही सबसे अधिक सुरक्षा की जरूरत बच्चों को होती है. मौसम परिवर्तन के समय छोटे बच्चों को संक्रमण सहित अन्य रोगों का भय बना रहता है. जिससे माता-पिता परेशान रहते हैं. बच्चों की सुरक्षा को लेकर कृषि विज्ञान केंद्र अगवानपुर की डॉ सुनीता पासवान ने बरसात के मौसम में बच्चों की देखभाल के लिए विभिन्न सुझाव दिए. उन्होंने कहा कि बरसात में नमी के कारण कीटाणुओं एवं बैक्टीरिया का तेजी से विकास होता है. बच्चों के रहने वाले स्थान को साफ एवं सूखा रखें. उन्हें साफ कपड़े पहनायें एवं उनके खिलौनों एवं उपयोग की चीजों को नियमित रूप से साफ करें. बच्चों को हमेशा साफ एवं उबले हुए पानी का ही सेवन करायेंएं. बरसात के मौसम में पानी से जुड़ी बीमारियां डायरिया, टायफाइड का खतरा बढ़ जाता है. बरसात के मौसम में बाहर का खाना खाने से बचें. बच्चों को ताजा एवं घर का बना हुआ खाना ही दें. बरसात के मौसम में उमस के कारण पसीना अधिक आता है. जिससे त्वचा पर रैशेज या अन्य समस्याएं हो सकती है. बच्चों को हल्के एवं सूती कपड़े पहनायें. जिससे उनकी त्वचा खुली रहे एवं पसीना आसानी से सूख जाये. बरसात के मौसम में मच्छरों का प्रकोप बढ़ जाता है. जिससे डेंगू, मलेरिया जैसी बीमारियों का खतरा होता है. बच्चों के सोने के समय मच्छरदानी का उपयोग करें एवं मच्छर भगाने वाली क्रीम लगायें. बच्चों की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने के लिए उन्हें पौष्टिक आहार दें. जिसमें हरी सब्जियां, फल, दालें शामिल हों. बच्चों को बारिश में भीगने से बचायें. इससे उन्हें सर्दी, खांसी एवं बुखार हो सकता है. बच्चे भीग जायें तो उन्हें तुरंत सूखे कपड़े पहनायें एवं गर्म पेय पदार्थ दें. उन्होंने कहा कि इन महत्वपूर्ण सावधानियों का पालन करके बरसात के मौसम में बच्चों को बीमारियों से बचाया जा सकता है एवं उनकी सेहत का अच्छे से ख्याल रखा जा सकता है.
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