24 को होगा पूरे दिन-रात व्रत, 25 की संध्या 5.05 के बाद होगा पारण सहरसा . ब्रज किशोर ज्योतिष संस्थान संस्थापक ज्योतिषाचार्य पंडित तरुण झा ने बताया कि हर वर्ष आश्विन मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को जीवित्पुत्रिका का व्रत मनाया जाता है. जीवित्पुत्रिका व्रत को भक्ति व उपासना के सबसे कठिन व्रतों में एक माना जाता है. बिहार में इस पर्व को जितिया के नाम से भी जाना जाता है. इस दिन माताएं अपने बच्चों की लंबी उम्र व स्वस्थ जीवन के लिए व्रत रखती हैं. माताएं इस दिन निर्जला व्रत रखती हैं. मिथिला विश्वविद्यालय पंचांग के अनुसार नहाय खाय 23 सितंबर को होगा. ओठगन 23 सितंबर की रात्री अंत यानि 4.30 सुबह तक़ उत्तम है. निर्जला व्रत 24 सितंबर से शुरु होगा. जबकि पारण 25 सितंबर बुधवार को सायं 5.05 के बाद होगा.
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