Samastipur News: Apply fertilizers in balanced quantity in fields, yield will increase : मोहिउद्दीननगर : एकल पोषक उर्वरक का अत्यधिक उपयोग मृदा के स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचा सकता है. एक मजबूत मृदा पारिस्थितिकी तंत्र स्थापित करने और दीर्घकालिक स्थिरता को प्रोत्साहित करने के लिए खेतों में संतुलित उर्वरक का उपयोग जरूरी है. यह बातें शनिवार को कल्याणपुर बस्ती में आयोजित किसान पाठशाला के समापन के दौरान कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए बीएओ कमलेश कुमार मिश्र ने कही. संचालन कृषि समन्वयक निशांत कुमार ने किया. इस दौरान बताया गया कि खेतों की उर्वरा शक्ति बनाए रखने व अधिक उत्पादकता के लिए पोषक तत्वों की संतुलित मात्रा का उपयोग आवश्यक है. जिससे खेतों में अच्छी पैदावार होगी. रासायनिक उर्वरकों के साथ ही पूरक उर्वरक के रूप में जैव उर्वरक का उपयोग करना चाहिए. वहीं अच्छी उत्पादकता के लिए किसानों से मिट्टी जांच कराने पर बल दिया गया. साथ ही एनबीएएस, पीआरएएनएएम, एसएचसी, पीवीकेवी, आईएनएम योजनाओं व तरल नैनो यूरिया व डीएपी के प्रयोग की विस्तृत जानकारी किसानों को दी गई. इस मौके पर एटीएम धनंजय सिंह, किसान सलाहकार राकेश कुमार, जगदीश महतो, विनोद कुमार झा, सुनील झा, राघवेंद्र कुमार राय, रविंद्र महतो, पंकज चौधरी मौजूद थे.
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