Pragati Yatra: पौधों में पानी व तालाब में जीरा छोड़ सीएम ने जिले के विकास की जड़ को सींचा
वारिसनगर का शेखोपुर गांव. यहां सोमवार की सुबह सूरज किरणों में अलग आभा नजर आ रही थी.
अभय कुमार सिंह, समस्तीपुर : वारिसनगर का शेखोपुर गांव. यहां सोमवार की सुबह सूरज किरणों में अलग आभा नजर आ रही थी. पक्षियों की गूंज व सिहकती पछुआ बयार ठंड के बाद भी मीठी अनुभूति करा रही थी. सुबह सात बजे गांव के लोग अपना काम निबटाने की जुगत में थे. उन्हें प्रगति यात्रा पर सीएम के आगमन की झलक लेनी थी. पल-पल गुजरता गया व वह समय भी आया, जब सीएम के काफिले की आवाज दूर से सुनी जाने लगी. प्रशासनिक से लेकर सुरक्षा व्यवस्था में तैनात जवान अलर्ट मोड में आ गये. सूरज सिर पर चढ कर ठंड में लोगों को जोश भर रहा था. जैसे ही सीएम का काफिला शेखोपुर के आंगनबाड़ी केंद्र पर रूका. हलचल मच गयी. सीएम ने केंद्र का उद्घाटन किया. सीधे सुखेश्वर स्थान तालाब की ओर अपनी नजरें घुमाया. जहां तालाब में तैरते बत्तख विकास गाथा की तरह प्रतीत हो रही थी. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार कार्यक्रम स्थल के द्वार पर पहुंचे कि बांयी ओर नव कलशित पौधों पर नजर गयी. उन्होंने पौधों को सींच कर विकास करने का पैगाम आम जन मानस को दिया. इसके बाद स्टॉलों का अवलोकन करते हुए वे तालाब के किनारे पहुंचे. जहां मछली का जीरा उस तालाब में छोड़ कर विकास का संदेश दिया. ऐसा लगा रहा था मुख्यमंत्री पौधों में पानी व तालाब में मछलियों का जीरा छोड़कर जिले के विकास की जड़ को सींच रहे हैं. यहां के लोगों के लिए बड़ा संदेश भी कहा जा सकता है कि कैसे अति व्यस्त जीवन में प्रकृति से प्रेम किया जा सकता है. लोगों का कहना था कि समझने वाले सीएम के इन दोनों कार्यों को समझ गये हैं. उन्होंने प्रगति यात्रा के माध्यम से जिलावासियों को झांझावात के बीच से गुजरते हुए सतत विकास का संदेश दिया है. जिस तरह तालाब में पड़ी मछली हमेशा विकसित होती है और पौधे आगे की ओर बढ़ते हैं ठीक उसी तरह से अपना कर्म करें. सरकार उनके विकास के लिए सतत तैयार है.
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