हमें अधिकार देता है, तो उसके साथ अपने कर्तव्य भी याद दिलाता है

संविधान के 75 साल पूरे होने के अवसर पर मंगलवार को विधि महाविद्यालय के एनएसएस इकाई द्वारा कार्यक्रम का आयोजन किया गया.

By Prabhat Khabar News Desk | November 26, 2024 11:29 PM

समस्तीपुर : संविधान के 75 साल पूरे होने के अवसर पर मंगलवार को विधि महाविद्यालय के एनएसएस इकाई द्वारा कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इसे संबोधित करते हुए कार्यक्रम पदाधिकारी सह व्याख्याता अजय कुमार झा ने कहा कि 26 नवंबर कोई आम दिन नहीं है. ये हर भारतीय के अस्तित्व का आधार संजोए है. क्योंकि यही वो दिन है जब भारत की आत्मा की रूपरेखा, यानी हमारा संविधान अस्तित्व में आया था. हमारा संविधान केवल कानूनों का एक संग्रह नहीं है. ये भारत की आत्मा का प्रतिबिंब है. ये हमें अधिकार देता है, तो उसके साथ अपने कर्तव्य भी याद दिलाता है. इसने हमें अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता समेत दूसरी बड़ी आजादी दी है, तो उसकी हदें भी बताई हैं. प्रो सुधीर कुमार,प्रो अभिमन्यु कुमार ने कहा कि भारत का संविधान दुनिया का सबसे बड़ा लिखित संविधान है. इसे 395 अनुच्छेद, 12 अनुसूचियां और 22 भागों के साथ तैयार किया गया था. बाद में इसमें समय के अनुसार कई संशोधन हुए और ये संख्या बढ़ी. हमारा संविधान भारत को एक लोकतांत्रिक देश घोषित करता है, जहां आम जनता सर्वोच्च शक्ति है. वही छात्र छात्राओं ने भी कहा कि हम भारत के लोग, ये शब्द एहसास कराते हैं कि भारत की ताकत इसकी विविधता में है. यहां अलग-अलग धर्म, भाषाएं, बोलियां, संस्कृतियां समान रूप से महत्वपूर्ण हैं. यही चीजें हमें दुनिया के दूसरे देशों से अलग और बेहतर बनाती हैं. आज का दिन हमें अपने संविधान की महानता और इसकी रक्षा के प्रति हमारी जिम्मेदारी समझने का स्मरण कराता है, क्योंकि हमारी यही कोशिश न सिर्फ संविधान, बल्कि पूरे देश को मजबूती देगी. स्टूडेंट्स को संविधान के प्रति श्रद्धा और कर्तव्यों के प्रति विज्ञता के लिए संविधान की प्रस्तावना का वाचन कर अनुकरण करवाया गया.

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