सड़क हादसों में दो महिलाओं की गयी जान

एकमा : जिले में विभिन्न सड़क हादसों में दो महिलाओं की मौत हो गयी दो वहीं अन्य घायल हो गये. सीवान एनएच 85 पर अनियंत्रित ट्रक ने एक महिला को रौंद दिया. घटना सोमवार को दोपहर के समय की है. महिला को थानाध्यक्ष अनुज कुमार सिंह अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां चिकित्सक ने मृत घोषित कर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 13, 2018 5:19 AM

एकमा : जिले में विभिन्न सड़क हादसों में दो महिलाओं की मौत हो गयी दो वहीं अन्य घायल हो गये. सीवान एनएच 85 पर अनियंत्रित ट्रक ने एक महिला को रौंद दिया. घटना सोमवार को दोपहर के समय की है. महिला को थानाध्यक्ष अनुज कुमार सिंह अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां चिकित्सक ने मृत घोषित कर दिया. दुर्घटना के बाद चालक ट्रक छोड़कर फरार हो गया. पुलिस ने ट्रक को जब्त कर लिया है और शव को अपने कब्जे में ले कर पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल छपरा भेज दिया है.

इस घटना के बाद पुलिस की तत्परता व सक्रियता से स्थिति को नियंत्रित कर लिया गया. दुर्घटना के बाद लोगों ने सड़क जाम करने व हंगामा करने का प्रयास किया, लेकिन पुलिस की तत्परता से लोग शांत हो गये. घटना एनएच 85 पर एकमा अलख नारायण सिंह उच्चतर हाईस्कूल के समीप की है. महिला जब सड़क पार कर रही थी, तभी अनियंत्रित ट्रक ने महिला को रौंद दिया. घटना के तुरंत बाद चालक ट्रक को रोका और वहीं छोड़ कर मौके से फरार हो गया. मृत महिला दाउदपुर थाना क्षेत्र के आदर्श ग्राम बरेजा निवासी राजेंद्र पांडेय की पत्नी चंद्रकला देवी बतायी जाती है. चंद्रकला देवी बिजली का बिल जमा करने के लिए अपने घर से एकमा गयी थी. इसी क्रम में वह सड़क पार कर रही थी, तभी ट्रक की चपेट में आ गयी. एकमा थाना पुलिस ने इस घटना की सूचना परिजनों को दी.

महिला की मौत से परिजनों में मचा कोहराम : सड़क दुर्घटना में महिला चंद्रकला देवी की मौत की खबर सुनते ही परिजनों में कोहराम मच गया. अचानक मौत की सूचना पाकर आसपास के लोग गमगीन हो गये. लोगों ने बताया कि कुछ ही घंटे महिला हंसी-खुशी के साथ एकमा बाजार पर गयी थी. कौन जानता था कि उसकी मौत हो जायेगी. पंचायत के मुखिया राजीव कुमार सिंह उर्फ राजू सिंह ने बताया कि मृत महिला अत्यंत गरीब परिवार से है. उसके अचानक मौत से पंचायत का खुशनुमा माहौल गम में बदल गया है. महिला को तीन पुत्रियां हैं, तीनों की शादी हो चुकी है. पति राजेंद्र पांडेय अपने परिवार का भरण-पोषण कबाड़ी का काम करके करते हैं. परिवार की माली हालत दयनीय बतायी जाती है.

Next Article

Exit mobile version