दारोगा-सिपाही हत्या मामला : न्यायालय ने फोरेंसिक जांच का दिया आदेश

छपरा (कोर्ट) : मढ़ौरा के मुख्य चौक पर अपराधियों द्वारा एसआइटी के दारोगा व सिपाही की गोली मारकर हत्या कर दिये जाने के मामले में न्यायालय ने फोरेंसिक जांच कराने को ले आदेश दिया है. मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी नूर सुल्ताना ने मढ़ौरा थाना कांड संख्या 596/19 के अनुसंधानकर्ता को घटना के बाद बरामद वस्तुओं को […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 3, 2019 1:29 AM

छपरा (कोर्ट) : मढ़ौरा के मुख्य चौक पर अपराधियों द्वारा एसआइटी के दारोगा व सिपाही की गोली मारकर हत्या कर दिये जाने के मामले में न्यायालय ने फोरेंसिक जांच कराने को ले आदेश दिया है. मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी नूर सुल्ताना ने मढ़ौरा थाना कांड संख्या 596/19 के अनुसंधानकर्ता को घटना के बाद बरामद वस्तुओं को विधि विज्ञान प्रयोगशाला मुजफ्फरपुर में जांच कराने का आदेश दिया है.

कांड के अनुसंधानकर्ता राम बालेश्वर राय ने मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी को आवेदन देते हुए आग्रह किया था कि घटना के बाद मृत पुलिसकर्मियों के शरीर से बरामद वस्तुओं को प्रयोगशाला में जांच कराने का आदेश दिया जाये, जिसे सीजेएम ने स्वीकार कर आदेश जारी कर दिया है.
अनुसंधानकर्ता ने आवेदन में कहा है कि घटना के बाद पुलिस ने घटनास्थल से एक लोडेड रिवाॅल्वर, कारतूस व खोखा तथा मृत सिपाही फारुख आलम के शरीर से दो पीस बुलेट व पिलेटस एवं खून से सना वस्त्र आदि को बरामद किया था, इसके साथ ही सीसीटीवी व सीपीयूआर को भी बरामद किया था, जिसका अनुसंधान के दृष्टिकोण से क्षेत्रीय विधि विज्ञान प्रयोगशाला, मुजफ्फरपुर में जांच कराना अति आवश्यक है . ज्ञात हो कि 20 अगस्त की संध्या को अपराधियों ने एसआइटी की टीम पर उस वक्त हमला कर दिया था, जब टीम वाहन से मढ़ौरा थाने से जिला मुख्यालय आ रही थी.
अपराधियों ने टीम के दारोगा मिथिलेश कुमार साह और सिपाही फारुख आलम की गोली मारकर हत्या कर उनकी पिस्टल व एके47 को लूट लिया था. साथ ही सिपाही रजनीश कुमार को गंभीर रूप से जख्मी कर दिया था, जिन्हें उपचार के लिए पीएमसीएच भेजा गया था. इस मामले में मौके पर मौजूद दारोगा विकास कुमार ने जिप अध्यक्ष व उनके पति समेत सात लोगों के विरुद्ध नामजद प्राथमिकी दर्ज करायी थी.

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