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गुजरात पुलिस भी कर रही थी तलाश

अरुण की गिरफ्तारी से कई मामलों के सुलझने की आशा हत्या के छह मामले भी हैं अरुण साह पर नन्हकी के खिलाफ भी दर्ज हैं विभिन्न थानों में एक दर्जन मामले छपरा (सारण) : राजस्थान में गिरफ्तार कुख्यात अपराधी अरुण साह उर्फ अरुण राय को गुजरात पुलिस भी लंबे समय से तलाश रही थी. छपरा […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 23, 2015 7:13 AM
अरुण की गिरफ्तारी से कई मामलों के सुलझने की आशा
हत्या के छह मामले भी हैं अरुण साह पर
नन्हकी के खिलाफ भी दर्ज हैं विभिन्न थानों में एक दर्जन मामले
छपरा (सारण) : राजस्थान में गिरफ्तार कुख्यात अपराधी अरुण साह उर्फ अरुण राय को गुजरात पुलिस भी लंबे समय से तलाश रही थी. छपरा शहर के सलेमपुर मुहल्ले के निवासी चंद्रिका प्रसाद के पुत्र अरुण कुमार के खिलाफ सारण जिले के विभिन्न थानों में करीब डेढ़ दर्जन आपराधिक मामले दर्ज हैं.
अरुण की गिरफ्तारी से सारण पुलिस ने राहत की सांस ली है तथा रेल पुलिस भी राहत महसूस कर रही है. लूट की बड़ी घटनाओं को अंजाम देने में संलिप्त अरुण के खिलाफ हत्या के करीब आधा दर्जन मामले लंबित हैं और अब तक वह पुलिस की गिरफ्त में नहीं आया था. पहली बार राजस्थान पुलिस के हाथों अरुण पकड़ा गया है, वहां भी लूट व हत्या के मामले में पकड़ाया है.
गुजरात पुलिस को थी तलाश
गिरफ्तारी कुख्यात अपराधी अरुण साह की सूरत के स्वर्ण आभूषण व्यवसायी से सात किलो सोना लूटने तथा हत्या करने के मामले में तलाश थी. करीब दो वर्ष पहले अरुण साह ने सूरत के एक स्वर्ण आभूषण व्यवसायी से सात किलो सोना लूटा था और प्रतिरोध करने पर गोली मार कर स्वर्ण आभूषण व्यवसायी की गोली मार कर हत्या कर दी थी. अरुण की गिरफ्तारी से इस मामले का रहस्य सुलझ जाने की आशा है.
सुरक्षा गार्ड की हत्या कर लूटी थी गन
अरुण ने नगर थाना क्षेत्र के कचहरी स्टेशन रोड स्थित एचडीएफसी बैंक के एटीएम काउंटर के पास 14 लाख रुपये लूटने के प्रयास में सुरक्षा गार्ड की गोली मार कर हत्या कर दी थी व उसका गन अपराधियों ने लूट लिया था.
यह घटना 25 अगस्त, 2014 को उस समय हुई थी, जब शहर में छपरा विधानसभा उप चुनाव की मतगणना का कार्य चल रहा था. पूरा प्रशासन मतगणना के कार्य में व्यस्त था.
सीएसबी के ऑपरेटर की हत्या कर लूटे थे सवा दो लाख
अरुण ने दिघवारा थाना क्षेत्र के पीरगंज बाजार के पास एसबीआइ ग्राहक सेवा केंद्र के कंप्यूटर ऑपरेटर की हत्या कर सवा दो लाख रुपये की लूट की घटना को भी अरुण ने ही अंजाम दिया था.
यह घटना 26 सितंबर, 2014 को उस समय हुई थी, जब दरियापुर के ग्राहक सेवा केंद्र का संचालक रुपये की निकासी कर नयागांव से लौट रहा था. ग्राहक सेवा केंद्र के संचालक तथा कंप्यूटर ऑपरेटर को गोली मार कर लूटने की घटना में अरुण संलिप्त था.
अरुण के गिरोह का शातिर अपराधी है नन्हकी
राजस्थान में अरुण के साथ गिरफ्तार नन्हकी उर्फ बबलू टाइगर उर्फ डॉन शातिर अपराधी है. अरुण के साथ लूट व हत्या की कई घटनाओं में नन्हकी भी संलिप्त रहा है. नन्हकी के खिलाफ भी करीब एक दर्जन आपराधिक मामले दर्ज हैं. नन्हकी के खिलाफ, दिघवारा, छपरा नगर, मढ़ौरा, छपरा रेल, रिविलगंज थानों में मामले दर्ज हैं.
क्या कहती है पुलिस
दोनों अपराधियों से पूछताछ करने तथा रिमांड पर लेने के लिए सारण पुलिस को राजस्थान भेजा गया है. दोनों अपराधियों की गिरफ्तारी काफी महत्वपूर्ण है.
सत्यवीर सिंह, पुलिस अधीक्षक, सारण
राजस्थान में गिरफ्तार कुख्यात अरुण साह उर्फ अरुण राय की गिरफ्तारी से सारण पुलिस ने राहत की सांस ली है. उस पर जिले में कम-से-कम डेढ़ दर्जन आपराधिक मामले दर्ज हैं. उम्मीद है कि पुलिस कई मामलों को सुलझाने में सफल होगी.
40 लाख की आभूषण लूट में था फरार
पूर्वोत्तर रेलवे के छपरा-बलिया रेलखंड पर छह फरवरी, 2013 को ताप्ति गंगा एक्सप्रेस में स्वर्ण आभूषण व्यवसायियों से करीब 40 लाख रुपये मूल्य के आभूषण व्यवसायी से हुई लूट के मामले में भी अरुण फरार चल रहा था और इस मामले में राजकीय रेलवे पुलिस उसके घर की कुर्की जब्ती भी कर चुकी है. इस मामले में रेलवे पुलिस को उसकी तलाश थी.
अपने गिरोह के सदस्य के भाई को मारी थी गोली
गड़खा थाना क्षेत्र के मीनापुर गांव में अरुण ने अपने दो साथियों के साथ मिल कर अपने ही गिरोह के सदस्य धर्मेद्र राय के घर पर हमला, बोल दिया था. अरुण ने 15 दिसंबर, 2014 को धर्मेद्र के भाई उपेंद्र राय तथा पिता रामनाथ राय को गोली मार दी थी, जिसमें उपेंद्र राय की मौत उपचार के दौरान हो गयी थी. आपसी रंजिश के कारण अरुण ने इस घटना को अंजाम दिया था. वह धर्मेद्र राय की तलाश में उसके घर गया, जब वह नहीं मिला, तो उसके पिता तथा भाई की गोली मार कर हत्या कर दी.

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