जा रहा था बड़े भाई की बरात, दुर्घटना में हो गयी मौत
जा रहा था बड़े भाई की बरात, दुर्घटना में हो गयी मौत दरियापुर थाने के पट्टी पुल के समीप ट्रक ने बाइक सवार को मारा टक्करइलाज के क्रम में पटना में युवक ने दम तोड़ा संवाददाता, दिघवाराछपरा-पटना मुख्य सड़क मार्ग पर दरियापुर थाने के पट्टीपुल के समीप ट्रक की चपेट में आ जाने से बाइक […]
जा रहा था बड़े भाई की बरात, दुर्घटना में हो गयी मौत दरियापुर थाने के पट्टी पुल के समीप ट्रक ने बाइक सवार को मारा टक्करइलाज के क्रम में पटना में युवक ने दम तोड़ा संवाददाता, दिघवाराछपरा-पटना मुख्य सड़क मार्ग पर दरियापुर थाने के पट्टीपुल के समीप ट्रक की चपेट में आ जाने से बाइक पर सवार एक युवक गंभीर रूप से घायल हो गया. देर रात इलाज के क्रम में पटना के एक निजी क्लिनिक में उसकी मौत हो गयी. घटना शुक्रवार को उस समय हुई जब वह बाइक से बड़े भाई की शादी में शामिल होने जा रहा था. मृतक की पहचान अवतार नगर थाने के हकिकतपुर निवासी मो सुस्लीम मियां के 22 वर्षीय पुत्र टीपू सुल्तान के रूप में हुई है. मिली जानकारी के मुताबिक अवतार नगर थाने के हकिकतपुर निवासी मो सुस्लिम मियां का पुत्र मो अजहरूद्दीन की शादी सोनपुर थाने के सबलपुर निवासी अब्दुल हफीद की बेटी आरजू बानू के साथ तय हुई थी. बरात शुक्रवार को धूमधाम से हकिकतपुर से सबलपुर जा रही थी. इसी बरात में शामिल होने दुल्हा अजहरूदीन का छोटा भाई टीपू भी बाइक से जा रहा था. मगर पट्टीपुल पार करने के क्रम में ओवरटेक के दौरान मवेशी लदे एक ट्रक की चपेट में आकर वह घायल हो गया. बाद में परिजनों द्वारा उसे पारस हॉस्पिटल, पटना में भर्ती कराया गया, जहां इलाज के क्रम में उसकी मौत हो गयी. उधर, मौत की खबर सुनते ही वर व कन्या पक्ष के घरों में उत्सव का माहौल गमगीन हो गया. शव के घर पहुंचते ही लोगों की रोने-विलपने की आवाजें तेज हो गयी. मृतक के पिता द्वारा घर पहुंची दरियापुर पुलिस को किसी प्रकार के आवेदन देने से इनकार करने पर पुलिस ने जब्त ट्रक को छोड़ दिया. हर किसी ने की पिता के कदम की सराहनाआज अधिकतर लोग छोटी से बड़ी घटनाओं में ज्यादा से ज्यादा लोगों को नामजद करने का प्रयास करते हैं. ऐसे में मृतक टीपू सुल्तान के अब्बु मो सुस्लिम मियां के द्वारा उठाये गये कदम की हर तरफ सराहना हो रही है. शनिवार की सुबह मृतक के घर पहुंचे दरियापुर थानाध्यक्ष संजय कुमार को मृतक के पिता ने किसी भी तरह का बयान देने से इनकार करते हुए प्राथमिकी दर्ज नहीं कराने की बात कही. उनका कहना था कि घटना के वक्त किसी ने नहीं देखा की गलती किसने की, तो फिर ट्रक चालक को दोष देना अनुचित होगा. उन्होंने कहा कि बेटे का इंतकाल हो गया है, तो क्या बस चालक व खलासी पर प्राथमिकी दर्ज करने से मेरा बेटा जिंदा हो जायेगा? उन्होंने दरियाुपर पुलिस से जब्त वाहन समेत ड्राइवर व खलासी को छोड़ देने का आग्रह किया. उधर, मृतक के घर मां शमीम बेगम समेत हाइकोर्ट में दफ्तरी का काम करनेवाले पिता की आंखें नम थी.