परिजनों ने एसएनसीयू के चिकित्सक को पीटा
आक्रोश. प्राइवेट नर्सिंग होम में शिशु का हुआ था जन्म, सदर अस्पताल में 12 घंटे उपचार के बाद हुई मौत प्राइवेट नर्सिंग होम में जन्मे नवजात शिशु के कुपोषित व संक्रमण का शिकार होने के कारण चिकित्सक ने सदर अस्पताल रेफर कर दिया, जहां 12 घंटे तक चले इलाज के दौरान उसकी मौत हो गयी. […]
आक्रोश. प्राइवेट नर्सिंग होम में शिशु का हुआ था जन्म, सदर अस्पताल में 12 घंटे उपचार के बाद हुई मौत
प्राइवेट नर्सिंग होम में जन्मे नवजात शिशु के कुपोषित व संक्रमण का शिकार होने के कारण चिकित्सक ने सदर अस्पताल रेफर कर दिया, जहां 12 घंटे तक चले इलाज के दौरान उसकी मौत हो गयी. इसके बाद परिजनों ने ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक के साथ मारपीट की. घटना का चिकित्सकों ने विरोध किया और दोषियों पर कार्रवाई नहीं होने पर आंदोलन घोषणा की.
छपरा (सारण) : सदर अस्पताल में एसएनसीयू में भरती नवजात शिशु की मौत से नाराज परिजनों ने ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक के साथ मारपीट की और ड्यूटी पर मौजूद अन्य कर्मियों के साथ भी दुर्व्यवहार किया. इस दौरान चिकित्सक के कपड़े फाड़ डाले. यह घटना सोमवार की रात 11 बजे की है. इस घटना का सभी चिकित्सकों ने विरोध किया और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं होने पर व्यापक स्तर पर आंदोलन करने की घोषणा की है.
इस घटना के खिलाफ मंगलवार को सदर अस्पताल में चिकित्सकों ने बैठक की और सिविल सर्जन तथा उपाधीक्षक को ज्ञापन सौंपा. इस मामले में उपाधीक्षक के निर्देश पर भगवान बाजार थाने में प्राथमिकी दर्ज करायी गयी है और सदर अस्पताल में अनधिकृत रूप से कार्य करने वालों को हटाने का निर्देश दिया है. इस घटना को लेकर मंगलवार की सुबह से ही सदर अस्पताल में अफरा-तफरी का माहौल रहा. ओपीडी में भी मरीजों का उपचार नहीं हो सका. चिकित्सकों ने कार्य का बहिष्कार कर दिया. बाद में सर्जन और उपाधीक्षक के लिखित हस्तक्षेप से मामला शांत हुआ.
क्या है मामला : सोमवार को एसएनसीयू में 11.30 बजे दिन में एक नवजात शिशु को भरती कराया गया. भगवान बाजार थाना क्षेत्र के नयी बाजार बेतिया राज छावनी निवासी अभिषेक कुमार की पत्नी सोनाली देवी ने प्राइवेट नर्सिंग होम में 11 बजे दिन में शिशु को जन्म दिया. नवजात शिशु कुपोषित था और संक्रमण का शिकार था.
इस वजह से प्राइवेट नर्सिंग होम के चिकित्सक ने सदर अस्पताल रेफर कर दिया. आधे घंटे बाद अस्पताल में शिशु को भरती कराया गया. सदर अस्पताल में शिशु का उपचार करीब 12 घंटे तक चला, जिसके बाद रात में उसकी मौत हो गयी. शिशु की मौत के बाद उसके परिजन जमा हो गये और वहां मौजूद चिकित्सक और कर्मचारियों के साथ मारपीट की. चिकित्सक के कपड़े भी फाड़ डाले. घटना के बाद चिकित्सक डॉ ऋषि कपूर ने उपाधीक्षक डॉ शंभुनाथ सिंह को घटना की सूचना दी. वहां कार्यरत जीएनएम जूली कुमारी ने आपात कालीन में जाकर घटना की जानकारी दी.
उपाधीक्षक ने उसी समय भगवान बाजार थाने की पुलिस को सूचना दी. पुलिस के पहुंचने के बाद मामला शांत हुआ.
नाराज चिकित्सकों ने किया ओपीडी का बहिष्कार समुचित चिकित्सा व्यवस्था नहीं मिलने से परेशान रहे मरीज
चिकित्सक के कपड़े फाड़े, अन्य कर्मियों के साथ किया दुर्व्यवहार
पिटाई से नाराज चिकित्सकों ने की बैठक
शीघ्र कार्रवाई न होने पर आंदोलन की दी चेतावनी
सदर अस्पताल में स्थित एसएनसीयू जहां हुआ हंगामा व घटना के विरोध में बैठक करते चिकित्सक.
क्या कहते हैं अधिकारी
घटना को गंभीरता से लिया गया है और दोषियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करायी जा रही है. सदर अस्पताल में करीब 12 घंटे तक नवजात शिशु का उपचार किया गया, जिसके बाद उसकी मौत हो गयी. जन्म के समय से ही वह संक्रमण का शिकार था. उसे सांस लेने में तकलीफ थी. वजन काफी कम था और बच्चा कुपोषण का शिकार था.
डॉ शंभुनाथ सिंह, उपाधीक्षक, सदर अस्पताल, छपरा
चिकित्सकों ने की बैठक
मंगलवार की सुबह सभी चिकित्सकों को इसकी जानकारी हुई. सभी चिकित्सक अस्पताल पहुंचे और ओपीडी में बैठक की, जिसमें इस घटना की कड़ी निंदा की गयी. दोषियों के खिलाफ शीघ्र कार्रवाई की मांग की गयी. कार्रवाई नहीं होने पर चिकित्सकों ने व्यापक स्तर पर आंदोलन चलाये जाने की चेतावनी दी है. चिकित्सकों ने ओपीडी का कार्य बहिष्कार कर दिया. सिविल सर्जन डॉ निर्मल कुमार और उपाधीक्षक डॉ शंभुनाथ सिंह के हस्तेक्षप से ओपीडी को चालू कराया.
बैठक में डॉ बीके सिन्हा, डॉ एमपी सिंह, डॉ नीला सिंह, डॉ शैलेंद्र कुमार, डॉ मिथिलेंद्र कुमार सिंह, डॉ एसएस प्रसाद, डॉ ऋषि कपूर, डॉ किरण ओझा, डॉ शैलेंद्र कुमार सिंह, डॉ दीपक कुमार, डॉ हर्षवर्द्धन कुमार, डॉ सुरेंद्र महतो, अस्पताल प्रबंधक राजेश्वर प्रसाद समेत सभी चिकित्सक मौजूद थे.
दर्ज करायी प्राथमिकी
एसएनसीयू में चिकित्सक के साथ मारपीट करने के मामले में भगवान बाजार थाने में प्राथमिकी दर्ज करायी गयी है, जिसमें नयी बाजार बेतिया राज छावनी निवासी अभिषेक कुमार व अन्य को नामजद किया गया है. सरकारी काम में बाधा पहुंचाने, चिकित्सक के साथ मारपीट करने, कपड़ा फाड़ने का आरोप है. पुलिस ने प्राथमिकी दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है. शिशु की मौत के बाद परिजन शव लेकर भाग गये.