गरमी से लोग बेहाल, सामान्य से ऊपर पहुंचा पारा

लोग अब होने लगे हैं बेहाल छपरा (सारण) : गुरुवार को अप्रैल का छठा दिन है और पारा सामान्य से ऊपर पहुंच गया है. जिले में भीषण गरमी का प्रकोप शुरू हो गया है. सुबह से ही सूर्य के तीखे तेवर देखने को मिले, जिससे चलते लोग गरमी से परेशान रहे. बुधवार को मौसम कुछ […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 7, 2017 7:59 AM
लोग अब होने लगे हैं बेहाल
छपरा (सारण) : गुरुवार को अप्रैल का छठा दिन है और पारा सामान्य से ऊपर पहुंच गया है. जिले में भीषण गरमी का प्रकोप शुरू हो गया है. सुबह से ही सूर्य के तीखे तेवर देखने को मिले, जिससे चलते लोग गरमी से परेशान रहे. बुधवार को मौसम कुछ ठीक रहा लेकिन गुरुवार को अधिकतम पारा 38 डिग्री के करीब पहुंच गया था, वहीं कई जगह अधिकतम तापमान 40 डिग्री तक दर्ज किया गया, जो कि जो सामान्य से अधिक रहा. इधर रात का पारा भी 22 डिग्री से ऊपर रिकॉर्ड किया गया. मौसम विभाग ने शुक्रवार को भी पारा 38 डिग्री के ऊपर रहने की आशंका व्यक्त की है.
इस बार कई सालों का मौसम का रिकॉर्ड टूट गया है. मौसम वैज्ञानिकों की मानें, तो अभी तापमान और बढ़ सकता है. 2007 के बाद पहली बार अप्रैल महीने में इस तरह की भीषण गरमी पड़ रही है. दस साल के दौरान अप्रैल में अधिकतम तापमान 32 डिग्री सेल्सियस से ज्यादा नहीं गया था, लेकिन इस बार पारा 38 डिग्री के पास पहुंच गया है. सुबह चटक धूप खिली थी. दिन बढ़ने के साथ ही तापमान में भी वृद्धि होती गयी.गर्म हवा के थपेड़ों ने लोगों को बेहाल कर दिया. जानकारों की मानें तो, दोपहर में एक से तीन बजे के बीच सबसे ज्यादा तापमान रहता है. इस दौरान बाहर निकलना सेहत के लिए नुकसानदायक हो सकता है. लगातार धूप में रहने से तेज सिरदर्द, बुखार या सर्दी-खांसी हो सकती है. भीषण गरमी और तेज पछुआ हवा के कारण अगलगी की घटनाओं में वृद्धि हो रही है और जान माल की काफी क्षति हो रही है. इस वजह से जिला प्रशासन और आमजनों की चिंता व परेशानी बढ़ गयी है.
एक सप्ताह के अंदर जिले में दर्जनों अगलगी की घटनाओं में गेहूं की फसल को काफी क्षति हुई है. रिविलगंज में दो दिन में आधा दर्जन गांव के चंवर में खेतों में लगी फसल में आग लग गया जिससे किसानों को काफी आर्थिक क्षति पहुंची है. इसी तरह परसा, अमनौर, तरैया, एकमा समेत अन्य कई स्थानों पर अगलगी में फसलों को क्षति हुई है.
मौसम में अचानक गरमी के कारण अगलगी की घटनाओं में वृद्धि हुई है. गर्मी और बढने की आशंका है. ऐसी स्थिति में आमजनों को आग से बचाव का उपाय करना चाहिए और सावधानी बरतने की जरूरत है.
डॉ आरके झा, कार्यक्रम समन्वयक, कृषि विज्ञान केंद्र, मांझी,सारण
अगलगी की घटनाओं पर काबू पाने के लिए अग्नि शमन विभाग की ओर से हर संभव उपाय किया जा रहा है. जिले में एक दर्जन छोटे- बड़े वाहन कार्यरत है. अगलगी की घटनाओं पर काबू पाने के लिए लोगों को जागरूक भी किया जा रहा है.
संतोष कुमार पांडेय, जिला अग्नि शमन पदाधिकारी, सारण

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