इधर जलनिकासी के लिए हो रही थी बैठक, उधर मूसलाधार बारिश से बदतर हुए हालात
शनिवार की दोपहर एक तरफ जहां नगर निगम के महापौर और नगर आयुक्त जलजमाव से निजात के लिए जिलाधिकारी के आदेश के तहत योजना तैयार कर रहे थे, तो दूसरी ओर बादलों के डरावने गरज के साथ झमाझम हुई बारिश ने शहर को दरिया में तब्दील कर दिया.
छपरा. शनिवार की दोपहर एक तरफ जहां नगर निगम के महापौर और नगर आयुक्त जलजमाव से निजात के लिए जिलाधिकारी के आदेश के तहत योजना तैयार कर रहे थे, तो दूसरी ओर बादलों के डरावने गरज के साथ झमाझम हुई बारिश ने शहर को दरिया में तब्दील कर दिया. शहर के मुख्य सड़कों से लेकर प्रशासनिक भवन, गली चौक-चौराहे पानी में ऐसे डूबे थे कि पैदल चलना तो दूर गाड़ियां मानों नदी में नाव की तरह चल रही थीं. सदर अस्पताल से लेकर न्यायाधीशों के लिए बनी जजेज कॉलोनी, आयुक्त व डीआइजी के कार्यालय सभी जगह पानी ही नजर आ रहा था. कलेक्ट्रेट का हालात कुछ इस कदर था कि जैसे नदी ने अपना रुख इस ओर ही मोड़ लिया हो. उधर सदर अस्पताल और कोर्ट परिसर में भी जलजमाव दिखा. अनुमंडल अधिकारी के कार्यालय और आवास में पानी भरा रहा. नगर निगम मुख्यालय में भी भारी जलजमाव हो गया.
गली-मोहल्ले हुए जलमग्नबैठक में लिये गये महत्वपूर्ण निर्णय
मूसलाधार बारिश के बीच नगर निगम महापौर और नगर आयुक्त ने जल जमाव से निजात के लिए जिलाधिकारी और जनप्रतिनिधियों के सुझाव के अनुसार कार्य योजना की तैयारी शुरू कर दी और कई महत्वपूर्ण निर्णय लिये गये है. नगर आयुक्त ने महापौर के हर निर्देश का पालन करने का आश्वासन दिया. वहीं महापौर ने आम जनता के हित के लिए हर संभव कदम उठाने का आदेश नगर आयुक्त को दिया. जलजमाव से निजात के लिए जितने भी सड़कों का निर्माण किया जाना था उनका निर्माण जल्द से जल्द करने के लिए आगे की कारवाई तेज करने का आदेश दिया गया.
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