छपरा. सारण का लाइफ लाइन कहा जाने वाला छपरा-पटना एनएच-19 फोरलेन का निर्माण कार्य 14 साल में भी पूरा नहीं हुआ और आज भी अधूरा है. कहां से और किस स्तर से लापरवाही हुई कि आज तक इस सड़क का निर्माण कार्य नहीं पूरा हो पाया.
इसका खामियांजा इन 14 सालों तक पूरे प्रमंडल के तीनों जिले के लगभग एक करोड़ निवासियों को भुगतना पड़ रहा है. पटना जाने के लिए आर्थिक परेशानी तो झेलना ही पड़ रहा है, अतिरिक्त 11 से 15 किलोमीटर की यात्रा भी करनी पड़ रही है. जिलाधिकारी अमन समीर और पुलिस कप्तान डॉक्टर कुमार आशीष के प्रयास से हरिहर क्षेत्र सोनपुर मेला के बाद से यह सड़क चालू तो हो गयी, लेकिन निर्माण कार्य आज भी अधूरा है. सिंगल लेन से ही आवागमन हो रहा है नतीजतन हादसों की संभावनाएं भी बनी हुई है. बालू के धंधेबाजो की वजह से कब यह जाम हो जाये कोई ठीक नहीं रहता.प्रतिदिन 12 मी भी बनते तो आज तक पूरा हो गया रहता
इस परियोजना का निर्माण कार्य 27 जनवरी 2011 को शुरू हुआ था. एजेंसी को लगभग 67 किलोमीटर सड़क को फोरलेन में कन्वर्ट करना था. यदि गुणा भाग किया जाए तो 14 साल यानी 168 महीना, यानी 5510 दिन होते. यह 67 किलोमीटर सड़क मीटर में 67000 मी लंबाई में है, यदि हर दिन 12 मी सड़क बनती तो आज यह पूरी हो जाती. लेकिन आज भी 15 से 25 फ़ीसदी काम बाकी है. इसके वजह से सिंगल लेन में वाहनों का आवागमन हो रहा है. कार्यालय सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इस सड़क का निर्माण 27 जनवरी 2011 को शुरू हुई थी और एजेंसी को 24 जुलाई 2013 तक पूरा कर लेना था. लेकिन दो वर्षों के कार्य को पूरा करने में 14 वर्ष लग गये.
किस कारण से हुआ विलंब
हाल ही में कलेक्ट्रेट सभागार में 18 दिसंबर को संपन्न हुई जिला कार्यक्रम कार्यान्वयन समिति की बैठक में जनप्रतिनिधियों के सामने निर्माण कार्य में विलंब होने के लिए जो दलील दी वह हास्यपद है. बताया गया कि परियोजना का निर्माण का जनवरी 2011 से आरंभ किया गया था परंतु रियायत ग्राही द्वारा धीमी गति से कार्य करने भूमि अधिग्रहण में विलंब होने के कारण सड़क निर्माण नहीं हो पाया.
क्या है निर्माण की स्थिति
वर्तमान में 67 किलोमीटर लंबे इस सड़क का निर्माण 14 वर्ष में अभी तक 58 किलोमीटर हुई है. वह भी दुरुस्त स्थिति में नहीं है. यह कुल निर्माण कार्य का 86 फ़ीसदी बताया जा रहा है. अभी बहुत सारे कार्य किये जाने हैं जिससे इस फोरलेन का सौंदर्यकरण हो सके. जितना निर्माण कार्य हुआ है उसमें इस हद तक आधा अधूरा है की जिला प्रशासन के लाख प्रयास के बावजूद भी सिंगल लेन ही स्टार्ट हो पाया है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है