निबटाये गये 716 मामले

शिवहरः स्थानीय व्यवहार न्यायालय परिसर में शनिवार को जिला जज निशानाथ झा की अध्यक्षता में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया. इसका उद्घाटन जिला जज के अलावा डीएम कुमार विनोद नारायण सिंह व एसपी हिमांशु शंकर त्रिवेदी ने संयुक्त रूप से किया. मौके पर दुर्घटना बीमा, श्रम विवाद, राजस्व उगाही, मनरेगा व दाखिल-खारिज समेत […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 24, 2013 4:57 AM

शिवहरः स्थानीय व्यवहार न्यायालय परिसर में शनिवार को जिला जज निशानाथ झा की अध्यक्षता में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया. इसका उद्घाटन जिला जज के अलावा डीएम कुमार विनोद नारायण सिंह व एसपी हिमांशु शंकर त्रिवेदी ने संयुक्त रूप से किया. मौके पर दुर्घटना बीमा, श्रम विवाद, राजस्व उगाही, मनरेगा व दाखिल-खारिज समेत अन्य मामलों को निष्पादन किया गया. वहीं विद्युत, टेलीफोन, वैवाहिक वाद व उपभोक्ता विवाद का भी निष्पादन समझौता के आधार पर किया गया. मामलों के निष्पादन को 6 बेंच लगाये गये थे. बेंच नंबर-1 पर प्रथम अवर जिला सत्र न्यायाधीश वेदप्रकाश के नेतृत्व में दुर्घटना, बीमा दावा व श्रम विवाद का निष्पादन किया गया.

बेंच नंबर-2 पर सीजेएम संपुर्णानंद तिवारी के साथ कामेश्वर झा, दयाशंकर मिश्र व रामप्रताप आदि अधिवक्ताओं ने आपराधिक मामलों का निष्पादन किया. बेंच नंबर-3 पर जिला भू-अर्जन पदाधिकारी वीरेंद्र पासवान ने राजस्व विवाद, मनरेगा व दाखिल-खारिज के मामले निष्पादित किये. इस बेंच पर 632 मामले निष्पादित किये गये. बेंच नंबर-4 पर अनुमंडल न्यायिक दंडाधिकारी प्रभाकर दत्त मिश्र ने बैंक संबंधित वाद की सुनवाई की, जिसमें ग्रामीण बैंक के मामले का निष्पादन समझौता के आधार पर नहीं हो सका. बेंच नंबर-5 पर प्रभारी न्यायाधीश सुशील कुमार दीक्षित ने विद्युत से संबंधित 104 में से एक मामला का निबटारा किये.

बेंच नंबर-6 पर सिविल वाद, वैवाहिक वाद, उपभोक्ता वाद के मामलों की सुनवाई, परिवार न्यायालय के प्रधान न्यायाधीश ने की, जिसमें मुंशी सुरेश कुमार श्रीवास्तव व अधिवक्ता शैलेंद्र कुमार सिंह ने सहयोग किया. 11 में से 6 मामलों का निष्पादन किया गया. जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव सह न्यायाधीश परशुराम सिंह यादव ने बताया कि 716 मामलों का निष्पादन किया गया. विभिन्न बैंकों से जुड़े 71.57 लाख के मामलों की सुनवाई की गयी, जिसमें से 45.61 लाख पर समझौता हुआ. बैंकों की तत्काल करीब 8 लाख की ऋण की वसूली हुई.

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