आरटीआइ के दायरे में क्यों नहीं आना चाहते पॉलिटिशियन : पप्पू यादव

शेखपुरा : बिहार के मधेपुरा से सांसद व जनाधिकार पार्टी के नेता पप्पू यादव ने कहा कि पॉलिटिशियन देश के सबसे बड़े नासूर बनगये हैं. वोट और सत्ता के लिए वे पूरे देश को समाप्त कर सकते है. जाति और धर्म का जहर दुनिया का सबसे बड़ा आतंक है. लखीसराय जिले के परसावां गांव जाने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 20, 2016 5:59 PM

शेखपुरा : बिहार के मधेपुरा से सांसद व जनाधिकार पार्टी के नेता पप्पू यादव ने कहा कि पॉलिटिशियन देश के सबसे बड़े नासूर बनगये हैं. वोट और सत्ता के लिए वे पूरे देश को समाप्त कर सकते है. जाति और धर्म का जहर दुनिया का सबसे बड़ा आतंक है. लखीसराय जिले के परसावां गांव जाने के क्रम में शेखपुरा के टोठीया पहाड़ स्थित अपने पुराने कार्यकर्ता बनारसी यादव से मिलने के क्रम में पत्रकारों के समक्ष उन्होंने यह बातें कही.

पप्पू यादव ने कहा कि आतंकवाद को हम तो तोप, बंदूक से समाप्त कर सकते हैं. लेकिन वोट के लिए जब आदमी जातिवाद, धार्मिक और मजहबी की चपेट में आ जाए तो फिर देश का क्या होगा. पॉलिटिशियन पर चुनाव में सबसे अधिक जाली नोट और काला धन खर्च करने आरोप लगातेहुएउन्होंने कहा कि चुनाव में लगभग 5 हजार करोड़ रुपया खर्चा करने वाले राजनीतिज्ञों को आरटीआइ के दायरे में क्यों नहीं लाया जाता है.

उन्होंने कहा कि धर्मगुरुओं, पॉलिटिशियन और ब्यूरोक्रेट का सबसे ज्यादा पैसा बाबा के पास लगा हुआ है लेकिन सरकार इन पर कारवाई के बजाय भगवान के नाम पर छूट दे रखी है. सांसद ने कुछ बैंकों की भूमिका पर भी सवाल उठाते हुए कहा कि पॉलिटिशियन की काले धन को सफेद करती है. इस पर सरकार करवाई क्यों नहीं करती है.

पीएम की मंशा पर सवाल उठाते हुए उन्होंने कहा कि जब आपने 500 और हजार का नोट बंद कर दिया तो फिर 2000 रुपये के नोट को चालू करने की क्या आवश्यकता पड़ी. बिना सोचे समझे आखिरकार पीएम नरेंद्र मोदी ने इतना बड़ा फैसला कैसे ले लिया.नोटबंदी पर लोगों की हो रही फजीहत परउन्होंने कहा कि सरकार कहती है जिसके घर में शादी होने वाली है तो वह ढाई लाख बैंक से निकाल सकते हैं तो क्या ढाई लाख से शादी हो पाएगी.

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