शेखपुरा:बिहारके शेखपुरा में मनरेगा जेई उज्जवल राज हत्याकांड में अब तक फरार 4 अभियुक्तों की गिरफ्तारी समेत अन्य मांगों को लेकर कनीय अभियंता एसोसिएशन मनरेगा प्रदेश इकाई के नेतृत्व में कर्मियों की आज बैठक आयोजित की गयी. बैठककेदौरान पांच दिनों के अंदर अभियुक्तों की गिरफ्तारी नहीं होने पर व्यापक आंदोलन किये जाने का निर्णय लिया गया है. वहींइस हत्याकांड के आरोपी बालमुकुंद यादव के परिजनोंद्वारा लूटपाटव बदसलूकी का आरोप लगाते हुए आज एसडीपीओ और थानाध्यक्ष के विरुद्ध कोट में परिवाद दायर किया है.
हत्याकांड को लेकर कनीय अभियंता एसोसिएशन की बैठक में लिये गये कई अहम निर्णय
बैठकके दौरान मौके पर एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष इंजीनियर प्रमोद ब्रहमचारी ने साफ लहजे में कहा कि 5 दिनों के अंदर अगर फरार सभी अभियुक्तों की गिरफ्तारी नहीं होती तब मनरेगा कर्मियों के साथ संगठन वृहत आंदोलन करेगा. ब्लॉक मुख्यालय स्थित कृषि भवन के सभाव सभागार में आयोजित बैठक के मौके पर संगठन के प्रदेश उपाध्यक्ष विनोद कुमार सचिव मनोज कुमार महासचिव निरंजन कुमार स्थानीय कनीय अभियंता अरुण कुमार तरुण मंटू कुमार मुकेश कुमार मनरेगाकर्मी कन्हैया कुमार राकेश कुमार के अलावे बड़ी तादाद में जुटे लोगों ने घटना में पुलिस विफलता पर आक्रोश प्रकट किया.
बैठक में नेताओं ने अहम निर्णय लेते हुए सरकार द्वारा मानव सृजन दिवस के लिए कर्मियों पर दबाव बनाए जाने की व्यवस्था पर आक्रोश प्रकट किया. इसके अलावा मृतक के आश्रित को समकक्ष नौकरी 50 लाख का मुआवजा हत्यारे को स्पीडी ट्रायल के तहत सुनवाई कर फांसी की सजा के अलावे अन्य मांगों पर सहमति बनाई. बैठक के दौरान नेताओं ने बताया कि अभियंता संघ के द्वारा सोमवार को आयोजित आक्रोश मार्च में नैतिक समर्थन के लिए संगठन के लोग एकजुट होकर शेखपुरा पहुंचे. लेकिन यहां प्रशासनिक अधिकारियों के द्वारा कार्यवाही में समय मांगने के बाद आक्रोश मार्च को स्थगित कर दिया गया.
इस हत्याकांड से आक्रोशित संगठन के नेताओं ने प्रशासनिक अधिकारियों के द्वारा कार्यवाही में समय मांगने के बाद आक्रोश मार्च को स्थगित कर दिया गया. हत्याकांड से आक्रोशित संगठन के नेताओं ने साफ शब्दों में कहा कि अगर निर्धारित समय के अंदर अभियुक्तों की गिरफ्तारी नहीं हुई तो संगठन शेखपुरा से लेकर पटना तक आंदोलनों को अंजाम देगा. इस मौके पर नेताओं ने शोक सभा आयोजित कर मृतक कनीय अभियंता उज्जवल राज को श्रद्धांजलि दी.
मानव सृजन दिवस के लिए कर्मियों पर दबाव बन रहा हत्या का कारण
कनीय अभियंता उज्वल राज की हत्या के बाद शेखपुरा में आयोजित कनीय अभियंता एसोसिएशन मनरेगा की बैठक में मौजूद प्रदेश भर के अधिकारियों ने कहा कि मनरेगा की योजना में अक्सर कर्मियों पर मानव सृजन दिवस बढ़ाने का दवाब दिए जाने की व्यवस्था लोगों को मौत की नींद सुला रहा है.मनरेगा योजना मांग आधारित रोजगार देने की योजना है लेकिन सरकार इसे टारगेट आधारित योजना बनाकर अराजकता की दलदल में धकेल रहा है.
नेताओं ने साफ लहजे में कहा कि मानव सृजन दिवस के लिए टारगेट निर्धारित करने का मतलब किसी भी हाल में राशियों का भुगतान करना है. सुबह में मजदूरों के पलायन की स्थिति सर्व विदित है. इसके बाबजूद मैंन डेज के लिए दवाव बनाने के इस व्यवस्था में अगर भुगतान की कार्रवाई की गयी तब मनरेगा कर्मी अनियमितताओं के दायरे में फंस जाने को विवश हो जाते हैं. अगर भुगतान नहीं किया तो उज्जवल राज जैसे कर्मियों को मौत की नींद सुला दिया जाता है.
बैठक के दौरान मनरेगा कर्मियों ने एक स्वर में सरकार के मैन डे सृजन दिवस बढ़ाने के लक्ष्य निर्धारण की व्यवस्था को समाप्त करने पर विचार करना चाहिए. अन्यथा हत्या और विभागीय कार्वाई की दंश झेल रहे मनारेगा कर्मी मानसिक तनाव को झेलने को विवश रहेंगे.
एसडीपीओ और थानाध्यक्ष के विरुद्ध अधिवक्ता ने कराया कोट परिवाद
मनरेगा जेई हत्याकांड में जैसे-जैसे आरोपी बालमुकुंद यादव के विरुद्ध पुलिस कानूनी शिकंजा कसने की कार्यवाही कर रही है. वैसे वैसे आरोपी के परिजन भी पुलिस महकमे के विरुद्ध कानूनी शिकंजा कसने की तैयारी में जुट गया है. रविवार को सड़क जाम कर पथराव की घटना के बाद आरोपी के पिता अधिवक्ता बनारसी यादव ने शेखपुरा व्यवहार न्यायालय में एसडीपीओ अमित शरण और थानाध्यक्ष संतोष कुमार के विरुद्ध परिवाद दायर करते हुए रंगदारी लूट एवं बदसलूकी करने का आरोप लगाया है.
कोर्ट परिवाद में अधिवक्ता ने आरोप लगाया कि बिना वारंट के ही तलाशी के नाम पर दोनों पुलिस अधिकारियों ने घर के अंदर महिलाओं के साथ दुर्व्यवहार किया एवं तोड़फोड़ करपांच भर सोना एवं दस हजार की लूट कर ली. इतना ही नहीं मुखिया होने के नाते पुलिस अधिकारियों ने एक लाख रुपया रंगदारी नहीं देने पर सबक सिखाने का भी धमकी दिया. न्यायालय में कोर्ट परिवाद दायर करने की घटना पर पुलिस अधिकारियों ने कहा कि हत्याकांड में पुलिस कार्यवाही को भटकाने के उद्देश्य से आरोपी पक्ष यह कदम उठाया गया है.
पुलिस टीम पर हमला करने में अधिवक्ता समेत डेढ़ सौ के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज
जेई उज्जवल राज की हत्या मामले में अभियुक्त बालमुकुंद यादव की तलाश के दौरान कारे गांव में चला गया पुलिसिया सर्च ऑपरेशन के विरोध में रविवार की सुबह शेखपुरा बरबिघा स्टेट हाईवे को जाम कर पुलिस पर पथराव करने के मामले में अधिवक्ता बनारसी यादव समेत दस नामजद और करीब डेढ़ सौ अज्ञात लोगों के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज करने की कार्रवाई की गयी है. इस मामले में घटनास्थल पर मौजूद पुलिस अधिकारी हरिभजन सिंह के बयान के आधार पर गांव के ही भीम राम सुरेश यादव समेत अन्य लोगों को अभियुक्त बनाया गया है.
इस बाबत टाउन थाना अध्यक्ष संतोष कुमार ने बताया कि हत्याकांड में अभियुक्त की गिरफ्तारी के लिए पुलिस ने कारे गांव में छापेमारी की थी. लेकिन अभियुक्त बालमुकुंद यादव और उनके परिजनों के द्वारा सोची समझी साजिद के तहत सड़क जाम कर पुलिस कार्यवाही को बाधित करने की कोशिश किया है. इस दौरान सड़क जाम से लोगों को काफी परेशानियों का भी सामना करना पड़ा. इसके साथ ही मौके पर सुरक्षा व्यवस्था बहाल करने पहुंची पुलिस टीम पर उक्त आरोपियों ने जानलेवा हमला करते हुए सरकारी कार्य में बाधा भी पहुंचाया है. सड़क जाम के इस घटना को लेकर पुलिस ने आरोपियों के विरुद्ध प्राथमिक दर्ज कराने के साथ-साथ कानूनी कार्यवाही शुरू कर दी है.