पंजाब के आलू फॉर्म में बंधक बने सीतामढ़ी व नेपाल के 30 मजदूरों की हुई घर वापसी, चार महीने बाद लौटी खुशियां

पंजाब के कपूरथला जिला के आलू फॉर्म में सीतामढ़ी एवं नेपाल के बंधक बने 30 मजदूरों की बुधवार को नववर्ष के दिन घर वापसी हुई.

By Prabhat Khabar News Desk | January 1, 2025 9:35 PM

सीतामढ़ी. पंजाब के कपूरथला जिला के आलू फॉर्म में सीतामढ़ी एवं नेपाल के बंधक बने 30 मजदूरों की बुधवार को नववर्ष के दिन घर वापसी हुई. पंजाब के कपूरथला जिले के सदर थाना क्षेत्र अंतर्गत सिधमा गांव स्थित आलू फॉर्म से सीतामढ़ी एवं नेपाल के कुल 30 नाबालिग एवं वयस्क बंधुआ मजदूरों को मुक्त सीतामढ़ी पुलिस, एसोसिएशन फॉर वॉलंटरी एक्शन (बचपन बचाओ आंदोलन) एवं पंजाब पुलिस के सहयोग से रेस्क्यू ऑपरेशन चलाकर करवाया गया है. वहीं, एसोसिएशन फॉर वॉलंटरी एक्शन ( बचपन बचाओ आंदोलन) के वरिष्ठ सहायक प्रोजेक्ट अधिकारी मुकुंद कुमार चौधरी ने जब डीएम रिची पांडेय को मजदूरों को आगमन की जानकारी दी तो डीएम के निर्देश पर मुजफ्फरपुर से सीतामढ़ी में घर तक मजदूरों को पहुंचने हेतु श्रम संसाधन विभाग सीतामढ़ी की टीम भी मुजफ्फरपुर मजदूरों का स्वागत करने पहुंची. संयुक्त रेस्क्यू ऑपरेशन में 11 नाबालिग एवं 19 वयस्क कुल 30 मजदूरों को आलू फॉर्म से मुक्त करवाया गया है. मुक्त मजदूरों में सीतामढ़ी जिला के कुल 22 एवं नेपाल के आठ मजदूर शामिल है. मुक्त होने के बाद मजदूरों एवं उनके परिवार में खुशी का माहौल है. रेस्क्यू के उपरांत इन मजदूरों के सुरक्षित घर सीतामढ़ी पुलिस एवं एसोसिएशन फॉर वॉलंटरी एक्शन (बचपन बचाओ आंदोलन) की टीम के द्वारा पहुंचाया गया है. सीतामढ़ी पुलिस टीम में महिला थाना के बाल कल्याण पुलिस पदाधिकारी रश्मि कुमारी, भिट्ठा थाना के पीएसआइ कुश कुमार एवं सिपाही पूजा कुमारी शामिल थे. — 16 से 18 घंटे तक करायी जाता थी मजदूरी चार माह पहले जिले के सोनबरसा प्रखंड के कचहरीपुर गांव निवासी बिगन राय एवं उसका भाई जिनिश राय ने संयुक्त रूप से सुरसंड प्रखंड क्षेत्र के मेघपुर गांव से नाबालिग एवं वयस्क मजदूरों को अच्छी मजदूरी दिलाने का झांसा देकर पंजाब के कपूरथला जिला के सदर थाना क्षेत्र स्थित पहलवान आलू फॉर्म ले गया, जहां इन मजदूरों से एक दिन में 16 से 18 घंटे तक मजदूरी करवाए जाने लगा. साथ ही इन लोगों को घर वापस नहीं आने दिया जाता था, न तो मजदूरी दी जाती थी. घर वापसी का गुहार लगाने पर अमानवीय तरीके से मारपीट की जाती थी. — भिट्टा व महिला थाने में दर्ज की गयी थी प्राथमिकी मामला संज्ञान में आने पर एसोसिएशन फॉर वॉलंटरी एक्शन (बचपन बचाओ आंदोलन) की टीम ने मजदूरों के परिवार का सहयोग कर सीतामढ़ी पुलिस से मजदूरों को मुक्त करवाने का अनुरोध किया. जिसके बाद मजदूरों के परिवार की शिकायत पर भिट्ठा थाना एवं महिला थाना में बिगन एवं जिनिश राय के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज हुई. जिसके बाद राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग से शिकायत कर नाबालिग बच्चों को मुक्त करवाने का अनुरोध किया गया. आयोग के द्वारा मामले पर त्वरित संज्ञान लेते हुए एसएसपी कपूरथला (पंजाब) को शीघ्र बच्चों को मुक्त करवाने हेतु पत्र भेजा गया. जिसके उपरांत सीतामढ़ी पुलिस टीम ने एसोसिएशन फॉर वॉलंटरी एक्शन एवं पंजाब पुलिस के संयुक्त सहयोग से रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया गया.

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