सीमित संसाधन में भी गोशाला का विकास

फोटो नंबर-5 सुरसंड गोशाला का भव्य द्वार व 6 गोशाला में रखी गयी गाय सुरसंड : स्थानीय सुरसंड गोशाला के 121 वर्ष हो गये हैं. इस बीच यह गोशाला काफी उतार -चढ़ाव को झेला. पूर्व की अपेक्षा अब गोशाला की स्थिति ठीक है. वैसे अब भी बहुत कुछ करने की जरूरत है. गोशाला की 24.97 […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 1, 2015 8:03 PM

फोटो नंबर-5 सुरसंड गोशाला का भव्य द्वार व 6 गोशाला में रखी गयी गाय सुरसंड : स्थानीय सुरसंड गोशाला के 121 वर्ष हो गये हैं. इस बीच यह गोशाला काफी उतार -चढ़ाव को झेला. पूर्व की अपेक्षा अब गोशाला की स्थिति ठीक है. वैसे अब भी बहुत कुछ करने की जरूरत है. गोशाला की 24.97 डिसमिल जमीन है, जिसमें से सात डिसमिल का अतिक्रमण कर लिया गया है. — अतिक्रमणकारी पर कार्रवाई नहीं गोशाला के सचिव रामनाथ सरावगी बताते हैं कि राम खेलावन राम, राम स्वरूप राम व संजीव कुमार द्वारा अतिक्रमण कर लिया गया है. वैसे मापी के बाद हीं पूरी तरह से स्पष्ट हो पायेगा. प्रशासन को इसकी खबर है. अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गयी है. — सरावगी वर्ष 96 से सचिव श्री सरावगी बताते हैं कि गोशाला को सुचारु तरीके से चलाने के लिए तीन नवंबर 95 को कार्यकारिणी का गठन किया गया और इसके सचिव गणपति राम बनाये गये. श्री राम के अस्वस्थ रहने पर 10 नवंबर 96 को श्री सरावगी सचिव बनाये गये. उस दौरान गोशाला में मात्र दो गाय व नगद 789 रुपये था, जबकि 5788 रुपये कर्ज था. अब 19 गाय है, जिसमें 12 दुधारू है. चार बाछा व छह बाछी है. बैल व सांड नहीं है. — प्रतिदिन 55 लीटर दूध की बिक्री सचिव श्री सरावगी कहते हैं कि वर्ष 1999 में 100 रुपये कूपन की एक योजना चलायी गयी,जिससे गोशाला को 36150 रुपये का आय हुआ जो विकास के काम में लगा. प्रतिदिन 55 लीटर दूध की बिक्री होती है. वर्ष 12-13 में 763721 रुपये आय एवं 759089 रुपये व्यय हुआ. सीमित संसाधन में भी गोशाला के विकास की कोशिश की जा रही है.

Next Article

Exit mobile version