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चर्चित कलेक्ट्रेट गोलीकांड में कोर्ट का फैसला आज

डुमरा कोर्ट (सीतामढ़ी) : समाहरणालय गोली कांड का फैसला मंगलवार को आयेगा. इस मामले में 17 वर्षो बाद फैसला आ रहा है. गत 21 मई को तदर्थ सत्र न्यायाधीश प्रथम मो इरशाद अली ने मामले की अंतिम सुनवाई कर फैसले की तिथि दो जून तय की थी.प्रभात खबर डिजिटल प्रीमियम स्टोरीJustice Yashwant Varma Case: कैसे […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 2, 2015 10:24 AM

डुमरा कोर्ट (सीतामढ़ी) : समाहरणालय गोली कांड का फैसला मंगलवार को आयेगा. इस मामले में 17 वर्षो बाद फैसला आ रहा है. गत 21 मई को तदर्थ सत्र न्यायाधीश प्रथम मो इरशाद अली ने मामले की अंतिम सुनवाई कर फैसले की तिथि दो जून तय की थी.

खास बात यह कि है हाइकोर्ट के आदेश के बाद इतनी जल्दी यह फैसला आ रहा है. हाइकोर्ट ने स्थानीय कोर्ट को मामले में निर्धारित अवधि के अंदर फैसला देने का आदेश दिया था. लेकिन, इस अवधि में मामले की सुनवाई पूरी नहीं हो सकी. इसलिए स्थानीय कोर्ट ने हाइकोर्ट से अतिरिक्त समय की मांग की गयी थी. इस चर्चित मामले में दो पूर्व सांसद समेत 73 आरोपित थे. इनमें से 60 के खिलाफ आरोप गठन किया गया था.

क्या है पूरा मामला. बाढ़ राहत की मांग को लेकर 11 अगस्त 1998 को जदयू व कम्युनिस्ट पार्टी ने संयुक्त रूप से कलेक्ट्रेट में उग्र धरना-प्रदर्शन किया था. नेता व कार्यकर्ता समाहरणालय परिसर में प्रवेश कर गये थे. स्थिति को गंभीर देख तत्कालीन डीएम रामनंदन प्रसाद के आदेश पर आंसू गैस छोड़े गये.

बेकाबू भीड़ को शांत करने के लिए लाठी चार्ज किया गया था. श्री प्रसाद के आदेश पर पुलिस ने आठ चक्र गोलियां चलायी थी. इसमें पूर्व विधायक रामचरित्र राय, डॉ अयूब, मोनिफ अंसारी, महंत मंडल व रामपरी देवी की मौके पर ही मौत हो गयी थी. मामले में पूर्व सांसद नवल किशोर राय, मो अनवारुल हक व राजद नेता मनोज कुमार समेत 73 को आरोपित किया गया था.

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