सोनाखान, कटौझा, चंदौली व डुब्बाघाट में बागमती का जलस्तर लाल निशान पार

नेपाल में अधिक वर्षा होने के कारण बागमती नदी के जलस्तर में वृद्धि जारी है. रविवार को सोनाखान में 34 सेमी, डुब्बाघाट में 52 सेमी, चंदौली में 28 सेमी व

By Prabhat Khabar News Desk | July 7, 2024 8:41 PM

डुमरा. नेपाल में अधिक वर्षा होने के कारण बागमती नदी के जलस्तर में वृद्धि जारी है. रविवार को सोनाखान में 34 सेमी, डुब्बाघाट में 52 सेमी, चंदौली में 28 सेमी व कटौझा में 73 सेमी जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर पहुंच गया है. जबकि ढेंग के समीप बागमती तो गोआवाडी में लालबकेया नदी का जलस्तर दोपहर बाद खतरे के निशान से नीचे पहुंच गया है. जिला आपदा प्रबंधन कार्यालय की रिपोर्ट के अनुसार, रविवार को सुंदरपुर में अधवारा नदी का जलस्तर स्थिर बना हुआ है. वहीं, सोनबरसा में झीम नदी के जलस्तर में गिरावट दर्ज़ किया गया है, हालांकि जिले में बाढ़ की कोई स्थिति नहीं है. सभी अंचलों में स्थिति सामान्य है.

— नदियों के जलस्तर की प्रवृति

स्थान नदी जलस्तर (मीटर) प्रवृति

ढेंग रेलवे पुल बागमती 70.74 गिरावट

सोनाखान बागमती 69.14 गिरावट

डुब्बाघाट बागमती 61.80 वृद्धि

चंदौली बागमती 59.34 वृद्धि

कटौझा बागमती 55.73 वृद्धि

सोनबरसा झीम 79.55 गिरावट

सुंदरपुर अधवारा 60.40 स्थिर

पुपरी अधवारा 53.25 गिरावट

गोआवाडी लालबकेया 70.80 स्थिर

डुमरा. संभावित बाढ़ को लेकर जिले में आपदा प्रबंधन के मानक संचालन प्रक्रिया के तहत प्रशासनिक स्तर से तैयारी लगभग पूरी कर ली गयी है. फिलहाल जिले के किसी अंचल में बाढ़ की कोई स्थिति नहीं है. जिला आपदा प्रबंधन कार्यालय के अनुसार, जिले में अभी स्थिति सामान्य है. जिला प्रशासन ने लोगों से अपील किया है कि नदी के जल में प्रवेश न करे एवं पूरी तरह सतर्कता बरते. साथ ही बच्चों को नदी, तालाब, पोखर अथवा अन्य जलस्रोतों में स्नान के लिए नहीं जाने दे. इस पर विशेष ध्यान रखे. प्रशासन ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर आमलोगों को सूचित किया है कि किसी भी आपात स्थिति में तत्काल जिला आपदा नियंत्रण कक्ष के दूरभाष संख्या 06226-250316 पर सूचना दे. साथ ही इसकी सूचना संबंधित थानाध्यक्ष, सीओ व एसडीओ को भी दे. बताया गया है कि किसी भी तरह के आपदा से बचाव के लिए आवश्यक खाद्य सामग्री की व्यवस्था व एसडीआरएफ की टीम को अलर्ट मोड़ में रखा गया है. डीएम रिची पांडेय ने संभावित बाढ़ व आपदा को लेकर सभी विभागों को अलर्ट मोड में रहने का निर्देश दिया है. वहीं, जल संसाधन विभाग के अभियंताओं की टीम लगातार सभी तटबंधों पर नजर रखे हुए हैं.

— 24 घंटे हो रही नदियों के जलस्तर की निगरानी

सभी नदियों के जलस्तर पर नजर रखी जा रही है. इन दिनों लगातार हो रही बारिश के कारण बागमती व अधवारा नदी के जलस्तर में वृद्धि रिकॉर्ड किया गया है. सात जुलाई के रिपोर्ट के अनुसार, सोनाखान व कटौझा समेत अन्य स्थानों पर बागमती नदी का जलस्तर खतरे के निशान को पार कर गया है. हालांकि स्थिति सामान्य है. वर्तमान में जिला अंतर्गत कुल 17 वर्षा मापक यंत्र कार्यरत हैं. सीतामढ़ी जिला अंतर्गत सभी पंचायत में स्वचालित वर्षा मापक यंत्र का अधिष्ठापन किया जा चुका है. राहत सामग्रियों के दर का निर्धारण एवं आपूर्तिकर्ताओं का चयन कर लिया गया है. जिला में कुल 34557 पॉलिथीन सीट उपलब्ध है, जिसमें अंचल स्तर पर 26272 पोलोथिन सीट्स उपलब्ध है. नोडल जिला मुजफ्फरपुर से 25000 पॉलीथिन सीट्स की अधियाचन की गयी है. परिचालन योग्य सरकारी नाव की संख्या 20 है, जबकि 50 निजी नाव मालिकों के साथ एकरारनामा किया गया है. जिले में बाढ़ राहत शिविर की संख्या 233 है, जबकि 256 सामुदायिक रसोई का स्थल चिन्हित किया गया है.

— 27 सदस्यीय एसडीआरएफ की टीम तैनात

बाढ़ के समय इमरजेंसी सेवा के लिए 27 सदस्यीय एसडीआरएफ की टीम रुन्नीसैदपुर अंतर्गत आवासित है. सभी अनुमंडल अधिकारी एवं जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता की टीम बनाकर तटबंधों के निरीक्षण कर संवेदनशील स्थलों व रन कट स्थलों की मरम्मती कार्य यथाशीघ्र पूर्ण करने का निर्देश दिया गया है. मरम्मती का कार्य जारी है. साथ ही सभी संबंधित पदाधिकारी के द्वारा तटबंधों पर सतत निगरानी रखी जा रही है.

— खरीफ फसल के लिए आकस्मिक योजना तैयार

खरीफ फसल के लिए आकस्मिक योजना तैयार कर ली गयी है. पशु चारा के दर का निर्धारण कर लिया गया है. बाढ़ के दौरान पशु स्वास्थ्य के लिए 38 प्रकार का दवा उपलब्ध है, जबकि 34 पशु शिविर का चयन किया गया है. जिसमें 34 मेडिकल टीम का गठन किया गया है. बाढ़ के दौरान मानव स्वास्थ्य के लिए कुल 32 मेडिकल टीम का गठन किया गया है. जबकि बाढ़ के दौरान मानव स्वास्थ्य के लिए कुल 21 मोबाइल मेडिकल टीम का गठन किया गया है. बाढ़ के दौरान मानव स्वास्थ्य के लिए कुल 40 प्रकार की दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित की गयी है.

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