सदर अस्पताल में अब तक शुरू नहीं हुआ सिजेरियन

सीवान : सदर अस्पताल में तोड़-फोड़ की घटना के करीब एक माह बीत जाने के बाद अस्पताल प्रशासन ने सिजेरियन को शुरूनहीं किया. सिजेरियन शुरू नहीं किये जाने से ग्रामीण क्षेत्रों से आनेवाली गरीब गर्भवती महिलाओं को प्राइवेट में जाना पड़ रहा है. सदर अस्पताल में मरीजों की सुविधा के लिए पहले से ही दो […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 2, 2015 7:11 AM
सीवान : सदर अस्पताल में तोड़-फोड़ की घटना के करीब एक माह बीत जाने के बाद अस्पताल प्रशासन ने सिजेरियन को शुरूनहीं किया. सिजेरियन शुरू नहीं किये जाने से ग्रामीण क्षेत्रों से आनेवाली गरीब गर्भवती महिलाओं को प्राइवेट में जाना पड़ रहा है.
सदर अस्पताल में मरीजों की सुविधा के लिए पहले से ही दो ओटी हैं. पुराने ओटी में सिजेरियन व अन्य ऑपरेशन तथा दूसरे में परिवार नियोजन का ऑपरेशन किया जाता था. लेकिन तोड़-फोड़ की घटना के बाद पुराने ओटी में ऑपरेशन नहीं हो रहा है. वहीं वैकल्पिक व्यवस्था के तहत नये ओटी का उपयोग नहीं किया जा रहा है.मालूम हो कि नये ओटी में वे सारी सुविधाएं उपलब्ध हैं, जो सिजेरियन के लिए जरूरी हैं.
प्रतिमाह 30 से 40 सिजेरियन के केस जा रहे प्राइवेट में : सदर अस्पताल में प्रतिमाह छह सौ से लेकर आठ सौ महिलाओं का प्रसव सदर अस्पताल में होता है. कुल ऑपरेशन का करीब पांच प्रतिशत जटिल प्रसव होने की उम्मीद होती है, जिनका सिजेरियन करना पड़ता है. जिले के एकमात्र सदर अस्पताल में ही महिलाओं का सिजेरियन करने की व्यवस्था है. ऐसी बात नहीं है कि रेफरल,पीएचसी व अनुमंडल अस्पतालों में सिजेरियन करने के लिए डॉक्टर व ओटी नहीं हैं. सभी सुविधाओं के रहने के बावजूद सरकारी अस्पतालों में सिजेरियन नहीं किया जाता है. पूरे सारण प्रमंडल में सदर अस्पताल में प्रतिनियुक्त महिला डॉक्टर कौशर आलिम ने सर्वाधिक ऑपरेशन करके डीआरडी के हाथों सम्मानित हुईं. ऐसी महिला डॉक्टर को सदर अस्पताल में रहना चाहिए, लेकिन सिविल सजर्न डॉ अनिल कुमार चौधरी ने उन्हें मैरवा रेफरल अस्पताल भेज दिया, जहां न तो ऑपरेशन होता है और न सिजेरियन.
सरकारी अस्पताल एक नजर में
सदर अस्पताल-01
रेफरल अस्पताल-03
अनुमंडल अस्पताल-01
पीएचसी-16
क्या कहते हैं अधिकारी
पुराने ओटी के ऑटो क्लैप, बॉयलर, हीटर व बीपी मशीन को ठीक करने के लिए अस्पताल प्रबंध को बहुत पहले लिखित सूचना दी गयी थी, जिससे ओटी को चालू किया जा सके. लेकिन अब तक ओटी की मरम्मत के लिए काम शुरू नहीं किया गया. नये ओटी में सिजेरियन हो सकता है कि नहीं, यह बात तो सजर्न ही बता सकते हैं.
मो हबीब, ओटी असिस्टेंट, सदर अस्पताल

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