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पत्रकार राजदेव हत्याकांड में कैफ बना अभियुक्त

सीवान : बिहार में सीवान के पत्रकार राजदेव रंजन हत्याकांड की जांच में जुटी सीबीआइ टीम के लिए बुधवार का दिन काफी महत्वपूर्ण साबित हुआ. धमकी व रंगदारी के मामले में मंडल कारा में बंद रहे मो शमशीर कैफ उर्फ बंटी को पत्रकार हत्याकांड में अभियुक्त बनाने के सीबीआइ के आवेदन को सीजेएम कोर्ट ने […]

सीवान : बिहार में सीवान के पत्रकार राजदेव रंजन हत्याकांड की जांच में जुटी सीबीआइ टीम के लिए बुधवार का दिन काफी महत्वपूर्ण साबित हुआ. धमकी व रंगदारी के मामले में मंडल कारा में बंद रहे मो शमशीर कैफ उर्फ बंटी को पत्रकार हत्याकांड में अभियुक्त बनाने के सीबीआइ के आवेदन को सीजेएम कोर्ट ने स्वीकृत कर लिया, जबकि हत्याकांड के साजिशकर्ता लड्डन मियां से बक्सर जेल में पूछताछ करने की इजाजत दे दी. कोर्ट ने इस हत्याकांड में आरोपित सोनू कुमार सोनी को तीन दिनों के रिमांड पर लेने का भी आदेश जारी किया.

इसके बाद सीबीआइ टीम ने मंडल कारा से शाम पांच बजे उसे रिमांड पर लिया. जेल अधीक्षक विधु भारद्वाज ने बताया कि तीसरे दिन इसी वक्त पर सीबीआइ सोनू को मंडल कारा को उपलब्ध करा देगा. नगर थाने में रखे गये हत्याकांड में प्रयुक्त पिस्टल, पत्रकार के खून से युक्त कपड़ा व अभियुक्तों के सिम सीबीआइ को सुपुर्द करने का भी सीजेएम ने आदेश दिया है.

कैफ ने जब्त संपत्ति को निर्गत करने के लिए कोर्ट को दिया आवेदन
सीवान. क्रिकेटर से कुख्यात अपराधी के रूप में चर्चा में आये शमशीर कैफ उर्फ बंटी ने जेल से सीजेएम कोर्ट में आवेदन देकर कुर्क की गयी संपत्ति को निर्गत करने की मांग की है. कैफ की फरारी के दौरान नगर थाने ने इश्तेहार चिपकाने के बाद भी हाजिर नहीं होने पर पिछले 16 सितेबर को उसके घर पर कुर्की जब्ती की कार्रवाई की थी. नगर थाने के दक्षिण टोला निवासी शमशीर कैफ उर्फ बंटी पर रंगदारी मांगने व धमकी की प्राथमिकी दर्ज है. उसके पड़ोसी फिरोज खान उर्फ नन्हें खान ने कैफ के अलावा छोटे मियां, मो. कयूम उर्फ स्टार व विक्की मियां को रंगदारी मांगने व धमकी देने का मुकदमा दर्ज कराया था.

इसके बाद से कैफ सहित चारों आरोपिताें की पुलिस को तलाश थी. इस बीच पुलिस को चकमा देकर 21 सितंबर को सीजेएम कोर्ट में आत्मसमर्पण कर दिया. बुर्का पहन कर कोर्ट में हाजिर हुए कैफ के फरार रहने के दौरान ही 16 सितंबर को उसके घर की कुर्की व जब्ती की कार्रवाई हुई थी. इस मामले में सीजेएम के कोर्ट में कैफ ने आवेदन देकर घर की जब्त सामग्री को उपलब्ध कराने की मांग की है. इस पर सीजेएम अरविंद सिंह ने नगर थाने को जब्त किये गये सामान की सूची उपलब्ध कराने का निर्देश दिया है.

लड्डन मियां से पूछताछ के लिए सीजेएम कोर्ट ने दी अनुमति
सीवान. राजदेव रंजन हत्याकांड की जांच में जुटी सीबीआइ टीम अब धीरे-धीरे आरोपितों पर नकेल कसना शुरू कर दी है. एक दिन पूर्व घटना के साजिशकर्ता लड्डन मियां के रिमांड के लिए सीबीआइ के दिये आवेदन पर बुधवार को सीजेएम ने जेल में पूछताछ करने की इजाजत दे दी. कोर्ट ने रिमांड पर देने के बजाय केंद्रीय कारागार में जेल अधीक्षक के सामने ही लड्डन से पूछताछ करने की अनुमति दी है.

पत्रकार राजदेव रंजन हत्याकांड का खुलासा करते हुए नगर थाने ने पूरी घटना का नगर थाने के रामनगर निवासी जहरूद्दीन बेग उर्फ लड्डन मियां को साजिशकर्ता बताया था. इसके बाद से ही उससे राज खुलवाने की नगर थाने की तमाम कोशिश के बाद भी उसे कोई कामयाबी नहीं मिली. पुलिस के कोर्ट से नार्को व पॉलीग्राफ टेस्ट के लिए मांगी गयी इजाजत पर भी अनुमति नहीं मिली. ऐसे में एक बार फिर पूरी घटना की सीबीआइ ने जांच शुरू की है. इस क्रम में मंगलवार को सीबीआइ के डीएसपी सुनील कुमार रावत ने सीजेएम कोर्ट में आवेदन देकर तीन दिन के रिमांड की दरख्वास्त की.

इस पर दूसरे दिन सुनवाई के बाद कोर्ट ने रिमांड देने के बजाय जेल के अंदर ही लड्डन मियां से जेल के अफसर के सामने पूछताछ की इजाजत दे दी. इसके बाद जल्द ही सीबीआइ के अब पूछताछ के लिए केंद्रीय कारागार बक्सर पहुंचने की उम्मीद है. खास बात है कि हत्याकांड का खुलासा होने के बाद भी उसके कारण रहस्य बने हुए हैं. पुलिस साजिशकर्ता से इस मामले में कुछ भी उगलवाने में नाकाम रही है. अब सीबीआइ के प्रयास से इस पर से परदा उठने की उम्मीद है.

साहब, मुंह मत खोलवाइए…
सीवान. नगर थाना पुलिस के पूछताछ के दौरान राजदेव रंजन हत्याकांड का साजिशकर्ता जहरूद्दीन बेग उर्फ लड्डन मियां हमेशा चुप्पी थामे रहा. नगर थाना पुलिस ने कोर्ट से तीन दिन के लिए रिमांड पर लिया. पुलिस का कहना है कि दबाव बनाने पर लड्डन ने कहा था कि साहब, मुंह मत खोलवाइये, बाल-बच्चों का सवाल है. लड्डन की इस जुबानी के मायने ढूंढ़ने में पुलिस नाकाम रही.

हत्या में प्रयुक्त असलहा समेत अन्य सामान होगा सीबीआइ के हवाले
पत्रकार राजदेव रंजन हत्याकांड की जांच में जुटी सीबीआइ को घटना में प्रयुक्त असलहा व अन्य बरामद सामग्री अब नगर थाना पुलिस उसे सुपुर्द करेगी. बुधवार को सीजेएम कोर्ट ने इस संबंध में आदेश जारी कर दिया. सीबीआइ टीम ने राजदेव रंजन हत्याकांड की जांच शुरू करने के साथ ही उससे जुड़े सभी अभिलेखों को अपने कस्टडी में लेना शुरू कर दिया है. इसके तहत घटना की जांच शुरू करते ही केस डायरी की कार्बन कॉपी, एफएसीएल की फोरेंसिक रिपोर्ट व पोस्टमार्टम रिपोर्ट की मूल प्रति हासिल कर ली थी.

इसके बाद सीबीआइ घटना में प्रयुक्त पिस्टल, खून से युक्त राजदेव रंजन के कपड़े व उनके मोबाइल का सिम तथा अभियुक्तों से बरामद मोबाइल के सिम तथा अन्य सामग्री हासिल करने के लिए प्रयासरत था. इसको लेकर सीबीआइ के डीएसपी सुनील कुमार रावत ने सीजेएम कोर्ट में आवेदन दिया था. इस पर बुधवार को सीजेएम अरविंद सिंह ने आदेश जारी कर दिया. इस संबंध में कहा जा रहा है कि बरामद सामग्री हासिल करने के बाद अब सीबीआइ नये सिरे से पूरी सामग्रियों की जांच करेगी. इसके तहत फोरेंसिक जांच भी केंद्रीय एजेंसी से करायी जायेगी तथा सिम के मामले में कॉल डिटेल का अध्ययन करेगा. इससे सीबीआइ को घटना के तह तक जाने में मदद मिलेगी. सीबीआइ की सक्रियता से यह उम्मीद जतायी जा रही है कि जल्द ही पूरी तसवीर सीबीआइ साफ करने में जुटा है.

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