सीवान. चुनाव चिन्ह आवंटन के बाद राजनीतिक सरगर्मी चरम पर है. एक ओर प्रशासनिक महकमा स्वच्छ व निष्पक्ष चुनाव कराने को लेकर तैयारियों में लग गया है. चुनावी मैदान में विभिन्न पदों पर आसीन होने के चाह लिए प्रत्याशी व उनके समर्थक मतदाताओं की नब्ज टटोलने में लगे हुए हैं. हर मतदाता अपनी पसंद के सांसद को मतदान करने की चर्चा करते हैं. कोई अपने समाज की बात कर रहा है तो कोई अपनी जाति की. कुछ वैसे भी मतदाता हैं जो जाति और समाज की बात छोड़ विकास की बात करते हैं. लोकसभा चुनाव में महिलाओं का उत्साह देखने को मिल रहा है. नि:संदेह इस बार चुनाव में आधी आबादी का वोट निर्णायक वोट साबित होगा. अधिकांश महिलाओं की बातों में सकारात्मक सोच और विकास की चाह साफ झलकती है. क्या कहा महिलाओं ने- क्षेत्र के लिए विकासपरक कार्यों के लिए समर्पित प्रत्याशी ही मेरी पहली पसंद है. सरकार के द्वारा चलाई जा रही विकास योजना भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ जाती है. लोगों को पीएम आवास, पशु शेड, वृद्धा पेंशन, अंत्योदय योजना, बाढ़-सुखाड़ अनुदान तथा मनरेगा का लाभ बिना किसी भ्रष्टाचार के मिलना चाहिए. नेहा कुमारी जब तक नेतृत्वकर्ता शैक्षिक एवं सामाजिक रूप से मजबूत नहीं होगा तब तक वह क्षेत्र के विकास के आवश्यक कदम नहीं उठा पाएगा. ऐसे में प्रतिनिधि का सभ्य, शालीन व शिक्षित होना जरूरी है. सांसद ऐसा हो जो महिला हितों के लिए संसद में आवाज उठाए. . रिंकी गिरी हमारा सांसद ऐसा हो, जो समाज के हर वर्ग का ख्याल रखे. जाति, धर्म व सम्प्रदाय से ऊपर उठकर चौमुखी विकास की बात करें. साथ ही महिलाओं के सामाजिक, आर्थिक व राजनैतिक भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए संसद में मजबूती से अपना पक्ष रखे. नीतु सिंह हमारा सांसद विकासवादी सोच वाला होना चाहिए. जन प्रतिनिधि की विकासवादी सोच भी जनता के लिए बहुत मायने रखती है. जब हम इस सोच वाले को अपना नेता चुनेंगे तो निश्चय ही क्षेत्र के चौमुखी विकास करने में सक्षम होगी. शिल्पी देवी
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