अब तक नहीं दी राज्य निर्वाचन आयोग ने काउंसेलिंग की अनुमति, नियोजन पत्र के इंतजार में 38 हजार से अधिक शिक्षक
11 हजार से अधिक पदों के लिए प्रस्तावित विशेष काउंसेलिंग की अनुमति अभी तक राज्य निर्वाचन आयोग ने नहीं दी है. शिक्षा विभाग की तरफ से इस संदर्भ में आयोग को करीब एक हफ्ते पहले ही प्रस्ताव जा चुका है. ऐसे हालात में लाखों अभ्यर्थियों में हताशा है.
पटना. 11 हजार से अधिक पदों के लिए प्रस्तावित विशेष काउंसेलिंग की अनुमति अभी तक राज्य निर्वाचन आयोग ने नहीं दी है. शिक्षा विभाग की तरफ से इस संदर्भ में आयोग को करीब एक हफ्ते पहले ही प्रस्ताव जा चुका है. ऐसे हालात में लाखों अभ्यर्थियों में हताशा है.
वहीं 38 हजार से अधिक चयनित अभ्यर्थी भी नियोजन पत्र की आस में बैठे हुए हैं. यही वजह है कि ट्विटर हैंडल पर शिक्षक अभ्यर्थी लगातार शिक्षा विभाग और उनके निजी ट्विटर हैंडल पर अपनी निराशा जाहिर कर रहे हैं.
शिक्षा विभाग के जवाबदेह अफसरों का कहना है कि बिना आयोग की अनुमति के छठे चरण की काउंसेलिंग की कवायद नहीं शुरू की जा सकती है. उल्लेखनीय है कि करीब 1200 नियोजन इकाइयों में काउंसेलिंग करायी जानी है. इस संदर्भ में विभागीय तैयारियां पूरी की जा चुकी हैं.
आधिकारिक जानकारों का कहना है कि उन नियोजन इकाइयों में काउंसेलिंग की करायी जानी है, जहां किसी खास कारण की वजह से उसे निरस्त किया गया था. उल्लेखनीय है कि सबसे पहले शिक्षा विभाग ने काउंसेलिंग कराने के लिए पंचायती राज विभाग से अनुमति मांगी थी.
विभाग ने सहमति देते हुए उसमें सलाह दे दी कि इस संदर्भ में राज्य निर्वाचन आयोग से अनुमति लिया जाना उचित होगा. तभी से यह मामला अधर में लटका हुआ है. इधर विशेषज्ञों का कहना है कि पहले से चली आ रही नियोजन प्रक्रिया पंचायत चुनाव से अप्रभावित होनी चाहिए. दरअसल प्रस्तावित यह काउंसेलिंग दूसरे फेज की काउंसेलिंग का ही हिस्सा है.
इसके पूरा होने के बाद पचास हजार से अधिक पदों पर तीसरे चरण की काउंसेलिंग भी करायी जा सकेगी. शिक्षा विभाग का मानना है कि पहले और दूसरे फेज की काउंसेलिंग के बाद खाली रह गये पदों के हिसाब से काउंसेलिंग कराये जाने का निर्णय लिया जायेगा.
फिलहाल अभी तक चयनित 38 हजार से अधिक शिक्षक नियोजन पत्र मिलने की आस में बैठे हैं. दरअसल शिक्षा विभाग का कहना है कि काउंसेलिंग पूरी कराने और उनके दस्तावेज सत्यापन के बाद ही एक साथ नियोजन पत्र बांटे जायेंगे.
Posted by Ashish Jha