I.N.D.I.A गठबंधन में सीट शेयरिंग के लिए बनी यह रणनीति, जानिए बैठक में नीतीश कुमार ने क्या दिए थे सुझाव..
भाजपा के खिलाफ एकजुट हुए I.N.D.I.A गठबंधन में सीट शेयरिंग के लिए रणनीति तैयार कर ली गयी है. बिहार सरकार के मंत्री संजय झा ने इसे लेकर बड़ी जानकारी साझा की है. उन्होंने बताया कि अगर पेंच उलझ गया तो उसे कैसे सुलझाया जाएगा. जानिए..
Political News: भाजपा के खिलाफ बने I-N-D-I-A गठबंधन में अब सीट शेयरिंग को लेकर कवायद शुरू होने जा रही है. इंडिया गठबंधन में सीटों के बटवारे को लेकर एक बड़ी जानकारी सामने आयी है. बताया जा रहा है कि सीट शेयरिंग के लिए राज्य स्तर पर कमेटी गठित होगी. हर राज्य में अलग-अलग कमेटी होगी. कमेटी ही सीटों के बटवारे पर आधिकारिक निर्णय करेगी. विवाद होने की स्थिति में मसला कोआर्डिनेशन कमेटी के समक्ष लाया जायेगा. कोआर्डिनेशन कमेटी का निर्णय सबों को मान्य होगा. जल्द ही राज्यों में कमेटी का गठन होगा, इसमें सहयोगी दलों के शीर्ष नेता शामिल होंगे. दिल्ली में हुई इंडिया गठबंधन की बैठक में यह निर्णय लिया गया है. यह जानकारी शुक्रवार को इंडिया गठबंधन के कंपेन समिति के सदस्य और प्रदेश के जल संसाधन व सूचना जनसपंर्क मंत्री संजय कुमार झा ने दी.
बैठक में नीतीश कुमार ने क्या दी थी सलाह?
मंत्री संजय झा ने कहा कि इस पर महाराष्ट्र में पहल शुरू हो चुकी है. अब इंडिया गठबंधन का अभियान शुरू होगा. उन्होंने कहा कि इस संबंध में मुंबई और बेंगलुरू की बैठक में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी सलाह दी थी कि हर राज्य में कमेटी बनाकर सीट शेयरिंग का निर्णय अक्टूबर तक हो जाना चाहिये. मंत्री ने कहा कि वे इंडिया गठबंधन की कैंपेन कमेटी के सदस्य हैं. उन्होंने अक्टूबर में भोपाल में होने वाली बैठक रद्द होने और अगली बैठक के सवाल पर कहा कि इसका निर्णय जल्द होगा. कैंपेन कमिटी की बैठक में यह तय हुआ था कि बैठक पांच-छह स्थानों पर होनी है, उसमें पटना भी शामिल है. उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में एक फैक्टर चुनाव है, लेकिन कांग्रेस के अलावा वहां और कौन लड़ रहा है, इसकी जानकारी नहीं है. उन्होंने कहा कि जहां विधानसभा का चुनाव नहीं है, वहां यदि सीट शेयरिंग के बारे में तय करने की बैठक हो तो अच्छा है.
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कोआर्डिनेशन कमेटी की बैठक में हो जायेगा सीट बंटवारे पर अंतिम निर्णय
मंत्री संजय झा ने कहा कि कोआर्डिनेशन कमेटी की अगली बैठक में इन सबों पर फैसला हो जायेगा. लेकिन बैठक का स्थान और समय तय नहीं है.इंडिया गठबंधन में संयोजक चुने जाने के सवाल पर उन्होंने कहा कि अभी इस संबंध में कोई बात नहीं हुई है. कांग्रेस सीडब्ल्यूसी की बैठक के मुद्दों पर उन्होंने कहा कि यह तो कांग्रेस ही बताएगी लेकिन हमारे नेता यही चाह रहे थे कि अक्टूबर तक सीट शेयरिंग का फैसला हो जाए. उसके बाद अभियान शुरू किया जाए.
लालू से मिले येचुरी, दावा- 20 पार्टियां और इंडिया गठबंधन में आएंगी
उधर, राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू प्रसाद से शुक्रवार को माकपा के राष्ट्रीय महासचिव सीताराम येचुरी ने मुलाकात की. सीताराम येचुरी ने कहा कि लोकसभा चुनाव में इस बार भी बिहार के लोग जाति से ऊपर उठकर वोट करेंगे. उन्होंने कहा कि इंडिया गठबंधन जब बन रहा था, तो शुरू में ही मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था कि उनको कोई पद की जरूरत नहीं है. भाजपा को हटाने के लिए देश में विपक्षी एकता को मजबूत करने के लिए हम निकले हैं. उन्होंने कहा कि कुछ राज्यों में चुनाव होने वाले हैं. उस चुनाव के बाद राष्ट्रीय स्तर पर अंतिम निर्णय होगा और एक ठोस रणनीति के तहत काम होगा. येचुरी ने कहा कि अब भी 20 पार्टियां इंडिया गठबंधन में शामिल होने को तैयार हैं. इंडिया गठबंधन देश के चरित्र को बचाने के लिए विपक्ष लड़ाई लड़ रहा है. 2024 में भाजपा केंद्र की सत्ता से बाहर हो जायेगी.
कांग्रेस सेवा दल ने तैयारियां तेज की
लोकसभा चुनाव को लेकर बिहार में कांग्रेस सेवा दल ने तैयारियां तेज कर दी है. शुक्रवार को सदाकत आश्रम में सेवा दल के प्रदेश अध्यक्ष डाॅ संजय यादव की अध्यक्षता में प्रदेश कार्यकारिणी की बैठक संपन्न हुई. बैठक में लोकसभा चुनाव प्रबंधन को लेकर विचार -विमर्श हुआ. बैठक को संबोधित करते हुए बिहार प्रभारी अफरोज खान ने कहा कि सेवा दल कांग्रेस पार्टी की रीढ़ है और पूरे देश में इसके पास एक अनुशासित और समर्पित कैडर है.
महागठबंधन सुलझाएगी सीटों का पेंच
बता दें कि इंडिया गठबंधन में सीट शेयरिंग की प्रक्रिया अब शुरू होने वाली है. बिहार में कुल 40 सीटों पर उम्मीदवार उतारे जाएंगे. इस बार गठबंधन का स्वरूप बदला है और जदयू अब भाजपा से अलग होकर मैदान में उतरी है. महागठबंधन को बिहार में अब राजद, जदयू, कांग्रेस व वामदलों के बीच सीट शेयरिंग का पेंच सुलझाना है. कांग्रेस ने कुल 9 सीटों पर अपना दावा पेश कर दिया है. वहीं ऐसी संभावना है कि जदयू और राजद बराबर सीटों पर उम्मीदवार उतारेगी. राजद की नजर भाजपा की जीती हुई सीटों पर है. वहीं वामदलों ने भी अपना दावा पेश किया है.