Bihar News: जूलॉजी विभाग में 52 प्रजाति की मछली पर पढ़ाई कर सकेंगे छात्र, दो लाख से बनायी गयी है लेबोरेटरी
Bihar News विभाग की शिक्षिका असस्टेंट प्रोफेसर डॉ नवेदिता प्रियदर्शी के सहयोग से लेबोरेटरी का निर्माण कराया गया है. डॉ प्रयदर्शी इसी विभाग की स्टूडेंट व रिसर्च स्कॉलर भी रही है. करीब दो लाख की लागत से बने इस लेबोरेटरी की कई खासियत है.
भागलपुर. पीजी जूलॉजी विभाग में सोमवार को एक्वापोनिक्स लेबोरेटरी का उद्घाटन किया गया. लेबोरेटरी मे रेहू, कतला व गोल्ड फिश सहित अन्य मछलियों की 52 प्रजाति डाली गयी है. विभाग के छात्र-छात्राएं उन मछलियों पर पढ़ाई कर सकेंगे. साथ ही लैब में धनिया, बिन्स, गोभी, टमाटर सहित दर्जनों पौधे भी लगाये गये है, जो मिट्टी रहित उत्पादन कर सकेगा. मौके पर विभाग के हेड प्रो अशोक कुमार ठाकुर ने कहा कि लैब का निर्माण होने से विभाग की पहचान व ख्याति और भी अधिक बढ़ जायेगी.
इससे शोध कार्य को काफी बल मिलेगा. अवसर पर पीआरओ डॉ दीपक कुमार दिनकर, प्रो प्रभात कुमार राय, डॉ धर्मशीला, डॉ डीएन चौधरी, डॉ रीतू मिश्रा, डॉ रेणु सिन्हा, दिलीप कुमार ठाकुर सहित विभाग के कर्मी, शोधार्थी और छात्र-छात्राएं मौजूद थे.
विभाग की शिक्षिका के सहयोग से लेबोरेटरी का कराया गया निर्माण
विभाग की शिक्षिका असस्टेंट प्रोफेसर डॉ नवेदिता प्रियदर्शी के सहयोग से लेबोरेटरी का निर्माण कराया गया है. डॉ प्रयदर्शी इसी विभाग की स्टूडेंट व रिसर्च स्कॉलर भी रही है. करीब दो लाख की लागत से बने इस लेबोरेटरी की कई खासियत है. पूर्णत मैकेनाइज्ड एक्वेरियम है. राज्य से बाहर के टेक्नीशियन ने अत्याधुनिक अपकरणों से तैयार किया है.
डॉ प्रियदर्शी ने बताया कि लेबोरेटरी में 18 हजार लीटर क्षमता वाला एक एक पानी का टैंक बनाया गया है. स्टोर किये गये इस पानी में लगभग तीन हजार मछलियों का उत्पादन हो सकेगा. मछली पालन के दौरान उससे निकलने वाले उत्सर्जी पदार्थों से पूर्णत: हर्बल व ऑर्गेनिक फलों, सब्जियों और वनस्पतियों का उत्पादन भी होगा.
Posted by: Radheshyam Kushwaha