ससुराल में विवाहिता की हत्या

बरैल गांव में मंगलवार को एक नवविवाहिता की मौत संदेहास्पद स्थिति में हो गयी. घटना के बाद से उसके मायकेवाले ससुरालवालाें पर अपनी पुत्री की हत्या का आरोप लगा रहे हैं. बताया गया कि उसे दहेज के लिए प्रताड़ित किया जा रहा था. सुपौल : सदर थाना क्षेत्र के बरैल गांव में मंगलवार को एक […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 9, 2017 8:44 AM
बरैल गांव में मंगलवार को एक नवविवाहिता की मौत संदेहास्पद स्थिति में हो गयी. घटना के बाद से उसके मायकेवाले ससुरालवालाें पर अपनी पुत्री की हत्या का आरोप लगा रहे हैं. बताया गया कि उसे दहेज के लिए प्रताड़ित किया जा रहा था.
सुपौल : सदर थाना क्षेत्र के बरैल गांव में मंगलवार को एक नवविवाहिता की मौत संदेहास्पद स्थिति में हो गयी. घटना की जानकारी मृतका के मायके वालों को मिलने के साथ ही परिजनों ने घटना की सूचना सदर थाना को दे दी. इसके बाद थाना पुलिस ने बरैल गांव पहुंच कर शव को अपने कब्जे में ले लिया. बुधवार को शव का पोस्टमार्टम करा पुलिस ने मृतका गुड़िया के ससुराल पक्ष के लोग नहीं रहने के कारण उनके पड़ोसी को शव सौंप दिया.
इधर घटना के बाद से मृतका के ससुराल पक्ष के लोग फरार बताये जा रहे हैं. हालांकि उसके मायके वालों का आरोप है कि उनके ससुराल वालों ने उनकी बेटी की हत्या कर दी है. ससुराल वाले हत्या के बाद शव को ठिकाने लगाने की जुगाड़ में थे.
दहेज के लिए किया जा रहा था प्रताड़ित
मृतका की मां सदर थाना के परसरमा गांव निवासी मीणा देवी ने बताया कि उनकी बेटी के साथ पति श्रवण कामत सहित उसके माता व पिता बराबर प्रताड़ित कर मारपीट करते थे. इस मामले को सुलह व सामान्य बनाने के लिए कई बार पंचायत भी हुई. जहां हर बार पंचायत में दामाद श्रवण द्वारा माफी मांग कर आगे से ऐसी गलती नहीं करने की बात कही जाती थी.
मायके वालों ने बताया कि कुछ माह पूर्व ही उनकी बेटी गुड़िया को परसरमा से विदाई करा ससुराल वाले ले गये थे. कहा की मंगलवार की चार बजे संध्या में उन्हें सूचना मिली कि उनकी बेटी की हत्या करके शव को ठिकाने लगाने का प्रयास किया जा रहा है. सूचना पाते ही उन्होंने अपने परिजन को दूरभाष पर सूचना दी और भागती हुई थाना पहुंची. थाना पुलिस को आवेदन देकर न्याय की गुहार लगायी.
आवेदन में उन्होंने जिक्र किया है कि मृतका के ससुराल वाले उनकी बेटी को बराबर दहेज लाने के लिये प्रताड़ित किया करते थे. इतना ही नहीं कई बार दामाद ने उनकी बेटी को मायके में छोड़कर चले गये. कहा जाता था कि जब तक तुम्हारे माता पिता पैसा नहीं देंगे. तब तक तुम अपने मायके में ही रहना. इसके उपरांत पुन: पंचायत बुलायी गयी. जहां दोनों पक्षों में सुलह करवाया गया. इसके उपरांत गुड़िया को ससुराल वालों द्वारा ले जाया गया.

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